21 साल की दलित लड़की का यौनशोषण करता रहा 60 साल का बुड्ढा, गर्भवती होने पर अपनाने से किया इनकार
गढ़वा जिले के धुरकी थाना क्षेत्र में एक दलित युवती ने बच्ची को जन्म दिया जिसकी बाद में मौत हो गई। पीड़िता का आरोप है कि गांव के ही यमुना प्रसाद जायसवाल ने शादी का झांसा देकर उसका यौन शोषण किया जिसके चलते वह गर्भवती हो गई। प्रसव पीड़ा होने पर आरोपी ने अपनाने से इनकार कर दिया।

संवाद सूत्र, धुरकी (गढ़वा)। गढ़वा जिला अंतर्गत धुरकी थाना क्षेत्र के घघरी गांव निवासी दलित समाज की 21 वर्षीय की अविवाहित युवती ने एक बच्ची को जन्म दिया।
जानकारी के अनुसार प्रसव-पीड़ा के बाद रविवार की दोपहर उसके स्वजन उसे ऑटो से लेकर अस्पताल जा रहे थे। इसी क्रम में युवती ने रास्ते में ही एक बच्ची को जन्म दिया, हालांकि जन्म के कुछ देर बाद बच्ची की मौत हो गई।
इसके बाद गंभीर स्थिति में प्रसूता को इलाज के लिए धुरकी सीएचसी में भर्ती कराया गया है। जहां एएनएम रेनु कुमारी द्वारा उसका इलाज किया जा रहा है।
पीड़िता तथा उसके स्वजनों ने बताया कि गांव का ही 60 वर्षीय यमुना प्रसाद जायसवाल, जो अब तक अविवाहित है, उसने एक वर्ष पीड़िता के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाया था।
जब इसका विरोध पीड़िता तथा उसके स्वजनों ने किया तब आरोपित ने युवती के साथ शादी कर उसे अपनी पत्नी बनाने की बात कही थी।
शादी का झांसा देकर लगातार करता रहा यौन शोषण
पीड़िता के स्वजनों ने बताया कि इसके बाद से आरोपित यमुना प्रसाद जायसवाल युवती के साथ शादी करने के नाम पर लगातर उसका यौन शोषण करता रहा, इसी बीच युवती गर्भवती हो गई।
युवती के गर्भवती होने की जानकारी जब पीड़िता तथा उसके स्वजनों ने यमुना प्रसाद जायसवाल को दी और शादी करने का दबाव बनाया, तो आरोपित ने कहा कि गर्भ को डैमेज मत करना, तुम इसको जन्म देना, मैं तुमसे विवाह कर लूंगा।
आरोपित के दिलासा देने तथा उस भरोसा कर नौ महीने तक युवती ने अपने गर्भ में बच्चे को पाला। रविवार को युवती को जब प्रसव पीड़ा हुई, तब आरोपित ने पीडिता को अपनाने से इंकार कर दिया। गांव के मुखिया ने कहा कि पीड़िता दलित परिवार की युवती को न्याय मिलना चाहिए।
इस मामले में थाना प्रभारी जनार्दन राउत ने बताया की पिड़िता के तरफ से पुलिस को किसी प्रकार का लिखित आवेदन नहीं मिला है। आवेदन मिलने पर पुलिस के स्तर से कार्रवाई की जाएगी।
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