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    ब्रह्म मुहूर्त में खुले बाबा बासुकीनाथ का कपाट, विधिवत हुई पूजा

    By JagranEdited By:
    Updated: Tue, 24 Aug 2021 03:41 PM (IST)

    बासुकीनाथ (दुमका ) सावन माह की ही भांति भादो माह में भी बासुकीनाथ मंदिर में सभी प्रकार क

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    ब्रह्म मुहूर्त में खुले बाबा बासुकीनाथ का कपाट, विधिवत हुई पूजा

    बासुकीनाथ (दुमका ): सावन माह की ही भांति भादो माह में भी बासुकीनाथ मंदिर में सभी प्रकार की पारंपरिक पूजा हो रही है। भाद्रपद मास कृष्ण पक्ष, द्वितीया तिथि दिन मंगलवार को बासुकीनाथ मंदिर में शिव पंचाक्षर मंत्र के साथ साथ जय श्री राम का भी उद्घोष होता रहा। यहां बता दें कि कोविड-19 के संक्रमण से बचाव को लेकर राज्य सरकार के निर्देश के आलोक में बासुकीनाथ मंदिर में श्रद्धालुओं के दर्शन पूजन पर पूरी तरह से प्रतिबंध है। बावजूद बासुकीनाथ मंदिर में सभी प्रकार के धार्मिक अनुष्ठान पूर्ववत आयोजित किए जा रहे हैं। मंगलवार को बासुकीनाथ मंदिर शिव पंचाक्षर मंत्र से गुंजायमान होता रहा। मंदिर के पुजारी व मंदिर कर्मियों ने कई शिव श्लोक, भजन जाकर बाबा बासुकीनाथ की आराधना की।

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    यहां बता दें कि विश्व प्रसिद्ध बाबा बासुकीनाथ मंदिर में प्रत्येक दिवस आयोजित होने वाले श्रृंगार पूजन का दृश्यअत्यंत मनमोहक होता है। मंदिर में आयोजित होने वाले इस श्रृंगार पूजन को देखने के लिए भक्त सदैव लालायित रहते है। अभी वर्तमान में कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण बासुकीनाथ मंदिर में आम भक्तों के दर्शन पूजन पर रोक है। बावजूद इसके बासुकीनाथ मंदिर में प्राचीन परंपराओं को ध्यान में रखते हुए सभी प्रकार के धार्मिक अनुष्ठान का परंपरागत तरीके से निर्वहन हो रहा है। विश्व प्रसिद्ध बाबा बासुकीनाथ के दरबार में भादो माह के दूसरे दिन मंगलवार की सुबह ब्रह्म मुहूर्त में पुजारी कृष्णदेव बाबा ने मंदिर परिसर स्थित सभी मंदिरों के कपाट खोले। मंदिर कर्मियों द्वारा सभी मंदिरों की साफ सफाई और रात्रि के पूजन अपशिष्ट को हटाने के बाद उन्हें जल से धोया गया। पुजारी ने विधिवत प्रात: कालीन पुरोहित पूजा किया गया। मंगलवार की दोपहर में विश्राम पूजा सह श्रृंगारी पूजा संपन्न कराई। वहीं रात्रि में भी पुजारी के द्वारा भव्यता पूर्वक बाबा बासुकीनाथ का श्रृंगार किया गया। इस मौके पर बाबा बासुकीनाथ के अलावा माता पार्वती, माता काली, शीतला माता, शत्रु संहारिणी बगलामुखी माता, आनंद भैरव व मंदिर परिसर स्थित विभिन्न देवी-देवताओं की भी पूजा अर्चना व श्रृंगार पूजा की गई। इस मौके पर बाबा बासुकीनाथ का मंदिर शिव तांडव स्त्रोत, शिव महिमन स्त्रोत, शिव पंचाक्षर मंत्र से गुंजायमान होता रहा।