अब राजेंद्र सरोवर 'प्यार का नया अड्डा', कॉलेज की कक्षाएं गोल कर यहां लग रहा छात्र-छात्राओं का जमावड़ा Dhanbad News
कई प्रेमी-जोड़े तो घरों से निकलने के बाद कॉलेज के बजाय सीधे सरोवर का ही रूख करते हैं। दिन के लगभग दस बजे से ही राजेंद्र सरोवर पार्क में युवक-युवतियों का पहुंचना शुरू हो जाता है।
धनबाद, जेएनएन। धनबाद शहर के बीचोबीच बेकारबांध स्थित राजेंद्र सरोवर अब 'प्यार का नया अड्डा' है। सरोवर की सीढि़यों पर सुबह से लेकर रात तक प्रेमी जोड़ों का जमावड़ा लग रहा है। इनमें ज्यादातर शहर के कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र-छात्राएं होते हैं। वे कॉलेज की कछाएं छोड़ सरोवर किनारे प्यार की पढ़ाई करते हैं।
पांच करोड़ की लागत से धनबाद नगर निगम ने राजेंद्र सरोवर का साैंदर्यीकरण कराया है। इसके बाद सरोवर की छटा देखते ही बनती है। यह आकर्षण का केंद्र बन गया है। इस कारण प्रेमी-जोड़ी सुकून की छांव में घंटे-दो घंटे बैठ प्यार की बातें करने के लिए यहां खींचे चले आ रहे हैं। राजेंद्र सरोवर के आकर्षण का एक और कारण है। यह शहर के बीचोबीच है। कॉलेजों के नजदीक है। पहले ज्यादातर प्रेमी-जोड़े बिरसा मुंडा पार्क जाते थे। यह पार्क शहर के बाहर है। आने-जाने में समय लगता था। इस कारण राजेंद्र सरोवर और सरोवर पार्क में दिन भर प्रेमी-जोड़ों का जमघट लगा रहता है।
कई प्रेमी-जोड़े तो घरों से निकलने के बाद कॉलेज के बजाय सीधे सरोवर का ही रूख करते हैं। दिन के लगभग दस बजे से ही राजेंद्र सरोवर पार्क में युवक-युवतियों का पहुंचना शुरू हो जाता है। कॉलेज की छात्राएं लुबी सर्कुलर रोड से मनोरम नगर होते हुए राजेंद्र सरोवर पार्क पहुंचती हैं। इधर कॉलेज के छात्रों का भी जमकर पार्क में लगा रहता है। एंट्री फीस कम होने के कारण इसे आसानी से वहन किया जाता है। हालांकि प्रेमी-जोड़ों की बढ़ती भीड़ के कारण आस-पास के लोगों को असहज स्थिति का भी सामना करना पड़ रहा है। शहर भर के लफुए-लफंगे भी जुट रहे हैं।
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