कोयलांचल में ब्रांडेड व जेनरिक दवाओं की कीमत में भारी बढ़ोतरी
विभिन्न मल्टीनेशनल कंपनियों ने कोरोना काल में ब्रांडेड व जेनरिक दवाओं की कीमतों में भारी बढ़ोतरी कर दी है। ब्रांडेड में 30 फीसद जबकि जेनरिक दवाओं में ...और पढ़ें

मोहन गोप, धनबाद : विभिन्न मल्टीनेशनल कंपनियों ने कोरोना काल में ब्रांडेड व जेनरिक दवाओं की कीमतों में भारी बढ़ोतरी कर दी है। ब्रांडेड में 30 फीसद जबकि जेनरिक दवाओं में पांच फीसद की वृद्धि की गई है। इसकी स्वीकृति राष्ट्रीय औषधि मूल्य निर्धारण प्राधिकरण ने भी दे दी है। अब बैच बदलते ही नए कीमतों पर दवाएं आ रही है। लगभग एक वर्ष या छह माह पर बढ़ने वाली कीमत इस बार तीन माह के अंतराल पर ही बढ़ा दी गई है। पारासिटामोल, एंटीबायोटिक, एंटी एलर्जिकल, गैस, मल्टी विटामिन की दवाओं के दाम सबसे ज्यादा बढ़े हैं। विशेषज्ञों की मानें तो कोयलांचल में प्रति माह लगभग डेढ़ करोड़ रुपये की दवा का कारोबार होता है। लेकिन बढ़ी हुई कीमतों के कारण यह कारोबार लगभग 40-50 लाख रुपये ज्यादा बढ़ जाएगा।
मानसिक रोगियों के लिए आफत
मानसिक रोगियों के लिए लिखी जाने वाली दवाओं में भी बढ़ातरी की गई है। एसिलाटोप्रैम 15 गोली की कीमत अगस्त में डेढ़ सौ रुपये थी। लेकिन अब इसकी कीमत बढ़ा कर 225 से 235 रुपये हो गई है। इसी ग्रुप की चार अन्य दवाओं की कीमतों में भी 30 से 40 फीसदी की वृद्धि हुई है। धनबाद में मानसिक रोगियों की संख्या भी ज्यादा है। ऐसे में अब इन रोगियों को भी जेब ज्यादा ढ़ीली करनी पड़ रही है। मल्टी विटामिन दवाओं की कीमत में इजाफा कोरोना काल में सबसे ज्यादा मल्टी विटामिन, विटामिन सी सहित अन्य दवाओं की काफी मांग बढ़ी है। कोवाडेस्क, लिम्सी, प्रोटिन पाउडर, लाइकोगार्ड, न्यूरोकाइंड आदि के दाम में भी बढ़ोतरी की गई है। पाचन में काम आने वाले इंजाइम के भी कीमतें बढ़ गई हैं। इन दवाओं की बढ़े कीमत
दवा पहले की दाम अब बढ़ा हुआ दाम (रुपये में)
एजिथ्रोमाइसिन (तीन गोली) 40 60-80
डॉक्सीसाइक्लिन 100 एमजी 74 90-95
दोनों एंटी बायोटिक
पेंटोप्रॉजोल और रेब्रिप्रॉजोल (गैस) 60 80-100
आइसोट्रोइन कैप्सूल (एंटी फंगल) 150 से 160 230 से 240
डुफास्टॉन (गर्भावस्था) 540 672
डुफालेक (पेट रोग) 504 516
फैबुस्टैट (यूरिक एसिड) 184 202
एटैरक्स (एंजाइटी) 36 40
एबी फ्लो (सांस) 112 125
कोवाडेस्क 72 88
प्रोटिन पाउडर 250 300-350
दोनों मल्टी विटामिन
केस एक
हीरापुर से अभय कुमार को गैस की परेशानी रहती है। हर माह वह पेंटोप्रॉजोल और रेब्रिप्रॉजोल ग्रुप की दवा लेते हैं। लेकिन इसमें अब 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी हो गई है। अभय को अब ज्यादा पैसे खर्च करने पड़ रहे हैं। केस दो
मटकुरिया के पवन कुमार को एंटी फंगल व एलर्जी दवाएं लेनी पड़ती है। वह लीवोसिट्राजीन गोली 45 रुपये में लेते थे, जबकि अब 65 रुपये हो गए हैं। एंटी फंगल क्रीम कोबोबिटासेल की कीमत 40 से 60 हो गई है। पवन बताते हैं कि अब अधिक खर्च करने पड़ रहे हैं। वर्जन
चीन से नहीं आ रहा कच्चा माल, इसलिए बढ़ रहा दाम : दुदानी
धनबाद जिला केमिस्ट एंड ड्रगिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेश दुदानी ने कहा कि दवा कंपनियों द्वारा नए बैच में भेजी जा रही दवाओं के दामों में वृद्धि की गई है। दवा कंपनियों का कहना है कि दवा बनाने के लिए कच्चा माल (रॉ मैटेरियल) चीन से आता था। लेकिन अभी प्रतिबंध के कारण कच्चा माल मलेशिया, थाइलैंड आदि देशों से आ रहा है। इससे कीमतें बढ़ रही है। दूसरी बात, कि सरकार भी मल्टी नेशनल कंपनियों के दबाव में आ जाती है, इससे भी दाम बढ़ सकते हैं। वर्जन
दवा की कीमतें बढ़ाने का अधिकार राष्ट्रीय औषधि मूल्य निर्धारण प्राधिकरण देता है। प्राधिकरण के स्वीकृति के बाद ही कीमतें बढ़ती हैं। हालांकि दवा की कीमतें व गुणवत्ता को लेकर विभाग की ओर से मॉनिटरिग की जा रही है।
आलोक कुमार, ड्रग इंस्पेक्टर, धनबाद।

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