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    Dhanbad: धनबाद में थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों का होगा इलाज, अस्पताल प्रबंधन की तैयारियां तेज; मिलेगी ये सुविधाएं

    धनबाद के सदर अस्पताल में अब थैलीसीमिया से ग्रसित बच्चों को इलाज होगा। अस्पताल प्रबंधन ने तैयारियां शुरू कर दी है। स्वास्थ्य विभाग की टीम इसे लेकर अस्पताल परिसर का मुआयना करेगी। इसके बाद रिपोर्ट हजारीबाग प्रमंडल भेजा जाएगा। बता दें कि इस रोग का इलाज अब तक सिर्फ मेडिकल कॉलेज में होता था। हालांकि सदर अस्पताल में इस सेवा की शुरुआत होने से लोगों को राहत मिलेगी।

    By Jagran NewsEdited By: Shashank ShekharUpdated: Sun, 08 Oct 2023 11:39 AM (IST)
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    धनबाद में थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों का होगा इलाज, अस्पताल प्रबंधन की तैयारियां तेज

    जागरण संवाददाता, धनबाद। सदर अस्पताल धनबाद में अब थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों का भी इलाज हो पाएगा। आरडीडी सिद्धार्थ सान्याल के निर्देश के बाद अस्पताल प्रबंधन ने तैयारी शुरू कर दी है। स्वास्थ्य विभाग की एक टीम रविवार को अस्पताल परिसर का जायजा लेगी। इसके बाद इसकी रिपोर्ट तैयार करके हजारीबाग प्रमंडल भेजा जाएगा।

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    अभी थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों का केवल मेडिकल कॉलेज में ही इलाज हो पता है। ऐसे में सदर अस्पताल में यह सेवा शुरू होने से मरीज को राहत मिलेगी।

    अस्पताल में इसके लिए जगह चिन्हित की गई है। बच्चों के लिए शिशु रोग विशेषज्ञ के साथ एक टीम भी तैनात रहेगी। अस्पताल के प्रभारी डॉक्टर राजकुमार सिंह ने बताया कि एक महीने के अंदर यह व्यवस्था अस्पताल में शुरू कर दी जाएगी।

    मेडिकल कॉलेज से जुड़े हैं 186 थैलेसीमिया पीड़ित बच्चे

    शहीद निर्मल महतो मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के ब्लड बैंक से फिलहाल 186 थैलेसीमिया बच्चे जुड़े हुए हैं। इसमें गिरिडीह और बोकारो के अलावा संथाल परगना के भी बच्चे जुड़े हुए हैं। कई बच्चों को समय पर रक्त नहीं मिल पाता है। इन्हीं समस्याओं को देखते हुए अब सदर अस्पताल में भी यह सेवा शुरू कराई जाएगी।

    केवल धनबाद में लगभग 100 से अधिक थैलेसीमिया पीड़ित बच्चे हैं। डॉ राजकुमार ने बताया कि थैलेसीमिया एक रक्त विकार की बीमारी है। जिसमें शरीर में हीमोग्लोबिन नहीं बन पाता है। ऑक्सीजन का स्तर लगातार घटता जाता है। ऐसे में पीड़ित बच्चों को लगातार रक्त की जरूरत पड़ती है।

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    केंद्र के लिए किया जाएगा प्रचार-प्रसार

    थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों के लिए यहां पर अलग से वार्ड का निर्माण होगा। प्रभारी ने बताया कि इसके लिए अलग से प्रचार-प्रसार किए जाएंगे।

    क्षेत्र में रहने वाली सहिया साथी और आंगनवाड़ी कार्यकर्ता से भी थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों की जानकारी ली जाएगी। वार्ड में बच्चों को भर्ती करने पर उसे निशुल्क रक्त की व्यवस्था की जाएगी। सदर अस्पताल में हाल ही में ब्लड यूनिट खोला गया है।

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