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    बीबीएमकेयू की जगह विभावि के अधीन बीएड कालेज, फार्म भरने में हो रही परेशानी

    By JagranEdited By:
    Updated: Sun, 09 Jan 2022 06:20 AM (IST)

    विनोबा भावे विवि हजारीबाग से अलग होकर वर्ष 2017 में बीबीएमकेयू बना। धनबाद-बोकारो में बीबीएमकेयू के 26 बीएड कालेज हैं। इन्हें एनसीटीई से मान्यता मिली ह ...और पढ़ें

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    बीबीएमकेयू की जगह विभावि के अधीन बीएड कालेज, फार्म भरने में हो रही परेशानी

    जागरण संवाददाता, धनबाद : विनोबा भावे विवि हजारीबाग से अलग होकर वर्ष 2017 में बीबीएमकेयू बना। धनबाद-बोकारो में बीबीएमकेयू के 26 बीएड कालेज हैं। इन्हें एनसीटीई से मान्यता मिली है। अभी तक ये कालेज विभावि के अधीन ही दिख रहे हैं। इसकी वजह से बीबीएमकेयू के बीएड कालेज से बीएड करने वाले छात्रों को परेशानी हो रही है। दरअसल शनिवार को एक ऐसा ही मामला विवि पहुंचा। बीबीएमकेयू से संबद्ध कुमार बीएड कालेज की छात्रा श्वेता अभी काफी परेशान है। श्वेता ने सत्र 2018-20 के दौरान इस कालेज से बीएड की पढ़ाई पूरी की। वर्ष 2021 में दिल्ली सबआर्डिनेट सर्विसेस सेलेक्शन बोर्ड की ओर से आयोजित शिक्षक नियुक्ति परीक्षा में शामिल हुई थी। अगले कुछ दिनों में इस परीक्षा के परिणाम जारी होने वाला है। इस परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों को 15 दिनों के अंदर अपने सभी प्रमाणपत्र जमा करने होते हैं। इसमें उन्हें नेशनल काउंसिल फार टीचर्स एजुकेशन का ई-डोजियर देना होता। इसमें एनसीटीई इस बात की घोषणा करता है कि अभ्यर्थी ने जिस संस्थान से बीएड किया है, वह इसके द्वारा मान्यता प्राप्त है। श्वेता के मामले में एनसीटीइ का कहना है कि उसने जिस विवि से बीएड की है, उसका नाम अभी एनसीटीइ के वेबसाइट पर संबद्ध विवि की सूची में नहीं है। श्वेता इसके बाद से काफी परेशान है। लगातार विवि का चक्कर लगा रही है। श्वेता ने बताया कि बीबीएमकेयू के गठन से पहले तक कुमार बीएड कालेज से बीएड करने वाले छात्रों को इस परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा। अगर जल्द ही इस समस्या का हल नहीं निकला तो बेहतरीन अवसर से वंचित रह जाएगी। बीबीएमकेयू के एमएड सत्र 2017-19 और 2018-20 की डिग्री सवाल उठने लगा है। एनसीटीई में अभी बीबीएमकेयू अपने वेबसाइट पर संबद्ध विवि की सूची में शामिल नहीं किया है।

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    छात्रों को परेशान होने की जरूरत नहीं है। विवि एनसीटीई से संबद्ध है। अभी परेशानी इसलिए हो रही है, क्योंकि इस विवि का नाम अभी एनसीटीइ के पोर्टल पर नहीं दिखा रहा है। इसके लिए काउंसिल को पत्र लिखा गया है। जल्द ही एक और रिमांइडर भेजा जाएगा।

    - डा. डीके सिंह, प्रभारी रजिस्ट्रार बीबीएमकेयू