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    IRCTC: छठ से पहले चलेंगी दक्षिण पूर्व रेलवे की 147 पैसेंजर ट्रेनें, जानें रेलवे की प्लानिंग

    By Atul SinghEdited By:
    Updated: Tue, 02 Nov 2021 01:37 PM (IST)

    पश्चिम बंगाल सरकार के पैसेंजर ट्रेनों को अनलाक करने के ग्रीन सिग्नल मिलते ही रेलवे ने ज्यादातर महत्वपूर्ण रूटों पर पैसेंजर ट्रेनों को चलाना शुरू कर दिया है। छठ से पहले कुछ और रूटों पर पैसेंजर ट्रेनें चलने लगेंगी। दक्षिण पूर्व रेलवे ने इसकी घोषणा कर दी है।

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    छठ से पहले कुछ और रूटों पर पैसेंजर ट्रेनें चलने लगेंगी। (प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर)

    जागरण संवाददाता, धनबाद: पश्चिम बंगाल सरकार के पैसेंजर ट्रेनों को अनलाक करने के ग्रीन सिग्नल मिलते ही रेलवे ने ज्यादातर महत्वपूर्ण रूटों पर पैसेंजर ट्रेनों को चलाना शुरू कर दिया है। छठ से पहले कुछ और रूटों पर पैसेंजर ट्रेनें चलने लगेंगी। दक्षिण पूर्व रेलवे ने इसकी घोषणा कर दी है। आठ नवंबर से 147 पैसेंजर ट्रेनें चलेंगी। राज्य सरकार से अनुमति मिलने के बाद 31 अक्टूबर से दक्षिण पूर्व रेलवे की 48 पैसेंजर ट्रेनें चल रही हैं।

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    धनबाद-विष्णुपुर और बर्द्धमान-हटिया मेमू चलने की बढ़ी संभावना पश्चिम बंगाल की पैसेंजर ट्रेनों के अनलाक होने के साथ ही अब धनबाद से विष्णुपुर और बर्द्धमान से हटिया के बीच चलने वाली मेमू ट्रेनों के भी पटरी पर लौटने की संभावना है। बर्द्धमान-हटिया मेमू पूर्व रेलवे की ट्रेन है। इस ट्रेन को चलाने का निर्णय पूर्व रेलवे स्तर पर होगा। कोरोना काल के बाद चली मेमू ट्रेन कोरोना की दूसरी लहर के कारण मई से दोबारा बंद हो गई थी। अब छह महीने बाद फिर चलने की उम्मीद है। धनबाद-विष्णुपुर मेमू पिछले साल 22 मार्च से ही बंद है। दोनों ट्रेनों के बंद रहने से झारखंड और पश्चिम बंगाल से आने-जानेवाले यात्रियों को काफी परेशानी हो रही है।

    आद्रा, बांकुड़ा और बर्द्धमान के लिए तलाशना पड़ रहा विकल्प धनबाद-विष्णुपुर मेमू पैसेंजर धनबाद और बोकारो के यात्रियाें को पश्चिम बंगाल के आद्रा, बांकुड़ा और बंगाल के दक्षिणी हिस्से तक पहुंचाने वाली एकलौती ट्रेन थी। इस ट्रेन के बंद हो जाने से इन शहरों तक पहुंचने की राह मुश्किल हो गई है। बर्द्धमान-हटिया मेमू के बंद होने से धनबाद, गोमो, बोकारो और रांचीसमेत आसपास के यात्रियों को विकल्प तलाशना पड़ रहा है। धनबाद से एक भी सीधी पैसेंजर ट्रेन नहीं चलने से हजारों यात्री परेशान हैं। अब छठ से पहले ज्यादातर ट्रेनों के चलने की संभावना बढ़ गई है। इससे बंगाल जाने वाले यात्रियों को भी बड़ी राहत मिल सकेगी।