Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    चार श्रम संहिता कानून के खिलाफ 23 को विरोध-प्रदर्शन

    By JagranEdited By:
    Updated: Mon, 12 Jul 2021 05:28 PM (IST)

    संवाद सहयोगी चितरा (देवघर) 23 जुलाई को देशव्यापी विरोध दिवस 17 जुलाई को 11 वें वेतन सम

    Hero Image
    चार श्रम संहिता कानून के खिलाफ 23 को विरोध-प्रदर्शन

    संवाद सहयोगी चितरा (देवघर): 23 जुलाई को देशव्यापी विरोध दिवस, 17 जुलाई को 11 वें वेतन समझौते को लेकर कोलकाता में जेबीसीसीआइ की बैठक समेत अन्य मुद्दे को लेकर आल इंडिया कोल वर्कर्स फेडरेशन के महासचिव डीडी रामानंदन, जेबीसीसीआइ के सदस्य सुजीत भट्टाचार्य व सीटू के प्रदेश सचिव प्रताप विप्लव ने स्थानीय अंबेडकर चौक पर सोमवार को स्थानीय ट्रेड यूनियन मोर्चा समर्थक सहित विभिन्न यूनियन प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर सलाह मशविरा किया। बैठक में बताया गया कि केंद्र सरकार मजदूर के अधिकारों पर डाका डाल रही है। मजदूर हित की सुरक्षा के लिए 444 श्रम कानून थे। इसे हटा कर चार श्रम संहिता तैयार किया गया है। हड़ताल समेत किसी भी तरह की मजदूर गतिविधि पर रोक लगाने के लिए सख्त कानून बनाया गया है । जिसके तहत जेल की सजा भी हो सकती है। मोदी सरकार देश की सार्वजनिक संपत्ति धड़ल्ले से बेच रही है। कोयला खदानों का बेरोक टोक निजीकरण किया जा रहा है। यह सरकार रक्षा उद्योग को निजी हाथों में सौंपने के लिए आमादा है। इन सभी सवालों को लेकर सभी ट्रेड यूनियन मोर्चा के प्रतिनिधि 23 जुलाई को देशव्यापी विरोध दिवस मनाने के लिए जगह जगह विचार विमर्श कर रहे हैं। इसके अलावा 17 जुलाई को 11 वां वेतन समझौते को लेकर जेबीसीसीआइ की बैठक कोलकाता में होगी। मजदूरों को ज्यादा से ज्यादा लाभ मिल सके। इसके लिए सभी जोन के कामगारों के बीच जा रहे हैं। सीटू के केंद्रीय नेताओं ने कहा कि केंद्र सरकार के किसी भी निर्णय को बदलने के लिए कामगारों की एकजुटता अति आवश्यक है। उम्मीद है कोयला उद्योग के सभी कर्मी पूर्व की तरह एकजुटता बनाए रखेंगे। मौके पर सीटू के स्थानीय सचिव रामदेव सिंह, एटक नेता पशुपति कोल, एचएमएस प्रतिनिधि राजेश राय, जेसीएमयू नेता कृष्णा सिंह, नवल राय व श्यामसुंदर तिवारी समेत संयुक्त ट्रेड यूनियन मोर्चा समर्थक कोयला कर्मी मौजूद थे।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें