Deoghar News: आंगनबाड़ी केंद्र में अव्यवस्था का आलम, बच्चों को नहीं मिल रहीं मूलभूत सुविधाएं
देवघर के चितरा में आंगनबाड़ी केंद्र पिपरा सोल में बच्चों के लिए आवश्यक सुविधाओं की कमी पाई गई। ग्रामीणों ने अनियमित पोषाहार वितरण और बर्तन की कमी की शिकायत की। अधूरा शौचालय और खराब चापाकल भी एक समस्या है। सेविका नीलमणि टुडू ने बताया कि 30 बच्चों में से केवल 9 उपस्थित थे और उन्होंने अपनी अनुपस्थिति का कारण बताया।

संवाद सहयोगी, चितरा(देवघर)। बच्चों के समुचित विकास और प्रारंभिक शिक्षा के लिए आंगनबाड़ी केंद्र के माध्यम से बाल विकास परियोजना द्वारा कई तरह की सुविधा मुहैया की जाती है। परंतु बच्चों को सारठ प्रखंड के लगवां पंचायत स्थित आंगनबाड़ी केंद्र पिपरा सोल में अपेक्षित सुविधाएं मयस्सर नहीं हो रही हैं। जागरण टीम के पड़ताल किया तो कई कमियां उजागर हुई।
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि यहां के बच्चों को अनियमित रूप से पोषाहार उपलब्ध कराया जाता है। जब भोजन मिलता है तो केंद्र की ओर से थाली नहीं दिया जाता। उसे अपने-अपने घर से लाना पड़ता है।
आरोप यह भी है कि केंद्र के रसोई घर में बर्तनों का घोर भाव है। जहां बर्तन ही नहीं है वहां पोषाहार कैसे बनता है यह भी एक बहुत बड़ा सवाल है। निर्माण काल से ही इस केंद्र का शौचालय आधा अधूरा पड़ा हुआ है।
ऐसे में आपात स्थिति में बच्चों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है। केंद्र के रख-रखाव, रंग रोगन के नाम पर कुछ भी खर्च नहीं किया जाता है। वहीं यहां का चापाकल महीनों से खराब पड़ा है। ऐसे में भगवान भरोसे इस केंद्र का संचालन किया जा रहा है।
केंद्र में अनियमित का बोलबाला
सेविका नीलमणि टुडू के अनुसार 30 बच्चे यहां नामांकित है उसमें से नौ बच्चे उपस्थित पाए गए। सहायिका ललिता देवी की उपस्थिति में केंद्र का संचालन हो रहा था।
ग्रामीणों का आरोप है कि किचन में सब चीज की कमी है। कड़ाही, गमला, बाल्टी, गिलास, थाली आदि किचन में नहीं नजर आया। जहां बर्तन का इतना अभाव हो वहां भोजन कैसे बनाया जाता है इसका सहज अंदाजा लगाया जा सकता है।
अपने बेटे का चिकित्सा कराने देवघर गई थी। इसलिए बच्चों की उपस्थिति कम रही। किचन का सामान घर पर रखे हुए हैं। चापाकल में ही समरसेबल पंप लगा दिया गया है। हमारे नियुक्ति के पूर्व ही केंद्र का निर्माण हुआ। शौचालय पूरा नहीं कराया गया।- नीलमणि टुडू, आंगनबाड़ी सेविका, पिपरासोल
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