कमार जाति को मिले आदिवासी का दर्जा
तेनुघाट (बेरमो) : कमार जाति को आदिवासी का दर्जा देने की मांग करते हुए अनुमंडल कार्यालय क
तेनुघाट (बेरमो) : कमार जाति को आदिवासी का दर्जा देने की मांग करते हुए अनुमंडल कार्यालय के समीप कमार व करमाली जाति के लोगों ने शनिवार को एकदिवसीय धरना दिया। नागेश्वर करमाली ने धरना का नेतृत्व करते हुए कहा कि खतियान में लिपिकीय भूल के कारण कमार जाति को पिछड़ा वर्ग और करमाली जाति को आदिवासी के श्रेणी में रखा गया है। जबकि दोनों एक ही जाति के हैं, जिसे सरकार ने विभाजित कर दो भागों में बांट दिया है। कमार और करमाली में कोई फर्क नहीं है। शादी-विवाह व खान-पान एक साथ होता है। उन्होंने कहा कि एक ही जाति के लोगों को दो भाग में बांट दिया जाना उचित नहीं है। कमार जाति के लोगों को भी करमाली की तरह अनसूचित जनजाति का दर्जा दिया जाना चाहिए।
धरना के समापन के बाद उन्होंने अनुमंडल पदाधिकारी को पत्र देकर सरकार से मांग की कि कमार और करमाली को एक ही जाति आदिवासी की श्रेणी में रखा जाए। मौके पर भीष्म करमाली, अकलू करमाली, रामचंद्र कमार, भुनेश्वर करमाली, विजय करमाली, सुभाष करमाली आदि उपस्थित थे।
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