Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Raghunath Mandir: कश्मीर में 31 साल पहले आतंकियों ने जला दिया था रघुनाथ मंदिर, अब फिर गूंजेंगे जयकारे

    By Rahul SharmaEdited By:
    Updated: Sat, 12 Sep 2020 12:08 AM (IST)

    Raghunath Mandir करीब तीन दशक पहले आतंकियों और कट्टरपंथियों द्वारा जला दिए गए श्रीनगर के एतिहासिक रघुनाथ मंदिर के जीर्णोद्धार का कार्य आरंभ हो गया है।

    Raghunath Mandir: कश्मीर में 31 साल पहले आतंकियों ने जला दिया था रघुनाथ मंदिर, अब फिर गूंजेंगे जयकारे

    राज्य ब्यूरो, श्रीनगर कश्मीर की खोई विरासत और सनातन परंपरा को सहेजने का कार्य शुरू हो रहा है। करीब तीन दशक पहले आतंकियों और कट्टरपंथियों द्वारा जला दिए गए श्रीनगर के एतिहासिक रघुनाथ मंदिर के जीर्णोद्धार का कार्य आरंभ हो गया है। धर्मांध भीड़ ने भगवान रघुनाथ की प्रतिमा को खंडित कर झेलम में फेंक दिया था। सब ठीक रहा तो जल्द वहां भगवान राम के जयकारे गूंजेंगे। मंदिर के जीर्णाेद्धार का कार्य राज्य पर्यटन विभाग को सौंपा गया है। मंदिर के साथ-साथ वहां झेलम के घाट का भी सौंदर्यीकरण किया जाएगा। इससे घाटी में रह रहे कश्मीरी पंडित तो खुश हैं ही, साथ ही सब-कुछ छोड़ पलायन करने वाले परिवारों की आंखों में भी उम्मीदों की नई रोशनी दिखने लगी है। देशभर के पर्यटक भी इस गुमनाम विरासत के दर्शन कर सकेंगे।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    डोगरा शासक महाराजा रणबीर सिंह ने करीब 160 वर्ष पूर्व श्रीनगर में झेलम दरिया के किनारे इसका निर्माण कराया था। मंदिर में कई अमूल्य पांडुलिपियां और धर्मग्रंथों पर आधारित लाइब्रेरी भी थी। मंदिर परिसर में एक स्कूल भी था। स्कूल आज भी है, लेकिन अब मंदिर और स्कूल के बीच में दीवार खड़ी हो चुकी है।

    आतंक के दौर से पहले भी था निशाने पर

    कश्मीर में आतंकवाद का दौर शुरू होने से पहले भी यह मंदिर धर्मांध तत्वों के निशाने पर था। 1989 में उग्र इस्लामिक कट्टरपंथियों की भीड़ ने मंदिर पर पहला हमला बोला। इसके बाद 24 फरवरी 1990, 13 अप्रैल 1991 और फिर 8 मई 1992 को इस हमले हुए। मंदिर में प्रतिष्ठित भगवान श्रीराम और माता सीता की प्रतिमाओं को खंडित कर झेलम में फेंक दिया गया। यज्ञशाला बर्बाद कर दी गई और लाइब्रेेरी जला दी गई। मंदिर के पास ङ्क्षहदुओं के सात मकान भी आतंकियों का निशाना बने। इसके बाद मंदिर वीरान हो गया और परिसंपत्तियों पर भूमाफिया की नजर पड़ गई। मंदिर के रास्ते पर अतिक्रमण कर लिया गया। मंदिर के नीचे झेलम का घाट भी अब जीर्णशीर्ण हालत में है। आल पार्टी माइग्रेंट कैंप को-ऑर्डिनेशन कमेटी के चेयरमैन विनोद पंडित ने सरकार के फैसले को ऐतिहासिक बताया है।

    प्रयास हुए पर काम सिरे नहीं चढ़ा

    हालात सुधरने के दावों के बीच तत्कालीन राज्यपाल स्व. एसके सिन्हा और एनएन वोहरा ने मंदिर की मरम्मत का काम शुरू करवाना चाहा पर कब बंद हुआ, किसी को पता नहीं चला। कश्मीरी पंडित भारत रैना ने भी मंदिर की मरम्मत के लिए राज्य प्रशासन को प्रस्ताव भेजा था जो सिरे नहीं चढ़ा।

    अब जल्द आरती का दीया जलेगा

    यह मंदिर जम्मू के रघुनाथ मंदिर से ज्यादा भव्य था पर इसे जला दिया गया। अब मरम्मत शुरू हुई है, लगता है जल्द ही आरती का दीया जलेगा। -चुन्नी लाल, प्रवक्ता, कश्मीरी हिंदू वेलफयेर सोसाइटी।

    रघुनाथ मंदिर का पुनर्निर्माण घाटी में कश्मीरी पंडितों की वापसी का रास्ता भी तैयार करेगा, साथ ही यह कश्मीर में सनातन परंपराओं की पुनर्बहाली की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा। - डॉ. अजय चुरुंगु, पनुन कश्मीर

    खोया गौरव बहाल होगा: पर्यटन निदेशक

    कश्मीर के पर्यटन निदेशक निसार अहमद वानी ने कहा कि रघुनाथ मंदिर श्रीनगर के महत्वपूर्ण और एतिहासिक धर्मस्थलों में एक है। इससे बड़े समूह की आस्था जुड़ी हुई है। यह पर्यटन के लिहाज से बहुत अहम है। जीर्णाेद्धार कार्य श्रीनगर स्मार्ट सिटी योजना में शामिल है। प्रयास है कि मंदिर का खोया गौरव बहाल हो। इसकी वास्तुशिल्प को ध्यान में रखते हुए जीर्णोद्धार के लिए विशेषज्ञों की मदद ली जा रही है। मंदिर के साथ झेलम के घाट का भी सौंदर्यीकरण होगा।

     

    comedy show banner
    comedy show banner