J&K News: नाइजर में रामबन का नागरिक लापता, पत्नी ने LG सिन्हा और CM अब्दुल्ला से लगाई मदद की गुहार
जम्मू-कश्मीर के रामबन जिले के रंजीत सिंह नाइजर में लापता हो गए हैं। आतंकियों ने उन्हें चार दिन पहले अगवा कर लिया था। उनकी पत्नी शीला देवी ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है। उन्होंने कहा कि घर में बुजुर्ग सास-ससुर और छोटे बच्चे हैं जिनका कोई और सहारा नहीं है। कंपनी ने बताया कि रंजीत सिंह को आतंकी हमले के दौरान जंगल की ओर भागते देखा गया था।

राज्य ब्यूरो, जम्मू। नाइजर में रोजी रोटी कमाने गए जिला रामबन के रहने वाले रंजीत सिंह को चार दिन पूर्व आतंकियों ने अगवा कर लिया। उनका अभी तक कोई सुराग नहीं मिला है। उनकी पत्नी ने उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, मुख्मयंत्री उमर अब्दुल्ला और अपने सांसद व पीएमओ में मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह से सहायता की गुहार लगाई है।
उसने कहा कि मेरे घर में बुजुर्ग सास-ससुर और छोटे-छोटे बच्चे हैं, हमारा कोई दूसरा सहारा नहीं है। पिछले चार दिन से भटक रही हूं, लेकिन कोई मदद नहीं कर रहा है।
यहां मिली जानकारी के अनुसार, नाइजर की राजधानी नियामी से लगभग 130 किलोमीटर दूर दोसो में 15 जुलाई को आतंकियों ने एक निर्माणास्थल पर हमला किया था। इस हमले में वहां काम कर रहे दो भारतीय नागरिकों की मौत हो गई और एक अन्य को आतंकियों द्वारा अगवा किए जाने की सूचना है।
जम्मू कश्मीर में जिला रामबन के चक्का कुंडी गांव का रहने वाला रंजीत सिंह वहां मैसर्स ट्रांसफ्रेल लाइटिंग लिमिटेड कंपनी के नाइजर प्रोजेकट में बतौर वरिष्ठ सुरक्षा अधिकारी अपनी सेवाएं दे रहा है।
चक्का कुंडी रामबन में आज रंजीत सिंह की पत्नी शीला देवी ने बताया कि उसका 15 जुलाई के बाद से अपने पति के साथ कोई संपर्क नहीं हो रहा है।
उसने बताया कि नाइजर में उसने कंपनी के लोगों से संपर्क किया, पहले तो उन्होंने टाल दिया और बाद में उन्होंने बताया कि आतंकी हमले के दौरान मेरे पति को जंगल की तरफ भागते देखा गया है, फिर कहते हैं कि उन्हें आतंकी अगवा कर ले गए हैं। कोई सच नहीं बता रहा है। आज चार दिन बीत रहे हैं।
शीला देवी ने कहा कि मैं अपनी रिपोर्ट लिखवाने पुलिस स्टेशन में गई थी, लेकिन पुलिस ने इससे इनकार करते हुए कहा कि यह मामला विदेश का है, यहां कोई कार्रवाई नहीं हो सकती। कोई रास्ता भी नहीं दिखा रहा है।
थक हार कर मैं जिला उपायुक्त रामबन के पास गई तो उन्होंने मेरी बात सुनी और मुझे मदद का यकीन दिलाया है। मेरी उपराज्यपाल मनोज सिन्हा से, केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह से और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील है कि हमारी मदद करें। मेरे पति को वहां से सुरक्षित वापस लाने में मदद करें। हमारा कोई दूसरा सहारा नहीं है।
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