जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला का दावा, नेकां के किसी विधायक ने नहीं की क्रास वोटिंग, न कोई वोट हुआ रद
जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने स्पष्ट किया है कि नेशनल कॉन्फ्रेंस के किसी भी विधायक ने क्रास वोटिंग नहीं की है और न ही किसी का वोट रद्द हुआ है। उन्होंने इन अफवाहों को निराधार बताते हुए पार्टी की एकता पर जोर दिया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी विधायकों ने पार्टी लाइन पर वोट किया और कोई भी वोट अवैध नहीं था।
डिजिटल डेस्क, जागरण, श्रीनगर। राज्यसभा चुनावों में एक सीट पर मिली हार के बाद पीडीपी सहित अपने ही कुछ सहयोगी दलों द्वारा घेरे जाने के बाद मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने शनिवार को यह दावा किया कि नेशनल कॉन्फ्रेंस के किसी विधायक ने न तो क्रास वोटिंग की और न ही किसी का वोट रद हुआ।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अंतिम चरण में हमें कुछ निराशा हाथ लगी। अब यह बिल्कुल स्पष्ट हो गया है कि किसने हमारा समर्थन किया और किसने नहीं। हालांकि मैं यहां किसी का नाम लेना उचित नहीं समझता। यह वास्तव में दुर्भाग्यपूर्ण है, लेकिन मैं उन सभी का आभारी हूं जो अंत तक हमारे साथ खड़े रहे।
नेशनल कान्फ्रेंस (नेंका) ने जम्मू-कश्मीर से राज्यसभा की सभी चार सीटें जीतने की पूरी कोशिश की थी, लेकिन 3-1 के अंतिम नतीजों पर कोई संदेह नहीं होना चाहिए। हमने 4-0 की जीत के लिए हर संभव प्रयास किया।
उन्होंने आगे कहा कि जहां तक आखिरी समय में अपना सपोर्ट वापस लेने वालों की बात है, यह निराशाजनक है। उन्होंने कहा, 'मुझे इस बात से सुकून मिलता है कि नेकां का एक भी वोट गलत नहीं गया।'
वहीं दक्षिण कश्मीर के शोपियां से निर्दलीय उम्मीदवार शब्बीर अहमद राज्यसभा चुनाव के नतीजों पर निराशा व्यक्त करते हुए कहा कि कश्मीर के लोग हमेशा क्षेत्रीय राजनीतिक दलों के प्रति वफादार रहे हैं लेकिन उन्हीं दलों ने बार-बार उनके विश्वास को तोड़ा है।
उन्होंने कुछ विधायकों की ईमानदारी पर सवाल उठाया जिनके वोटों ने भाजपा के पक्ष में संतुलन बना दिया। उन्होंने कहा कि भाजपा को वोट देने वाले चार विधायकों की पहचान की जानी चाहिए और उन्हें जनता के सामने बेनकाब किया जाना चाहिए।

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