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    हाईवे बंद होने पर भी कश्मीर घाटी में नहीं होगी गैस की कमी, अनंतनाग में एलपीजी बाटलिंग प्लांट शुरू

    By naveen sharmaEdited By: Lokesh Chandra Mishra
    Updated: Wed, 26 Oct 2022 10:15 PM (IST)

    घाटी में 15 लाख के लगभग गैस कनेक्शन हैं। हर वर्ष लगभग 65 लाख सिलेंडर एलपीजी की खपत हाेती है। श्रीनगर-जम्मू हाईवे के बंद होने पर वादी में अन्य पदार्थाें के साथ रसाेई गैस का संकट भी पैदा हो जाता है।

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    इंडियन आयल कार्पाेरेशन लिमिटेड ने यह प्लांट वेसु निपोरा में स्थापित किया है।

    श्रीनगर, राज्य ब्यूरो : हिमपात या भूस्खलन से जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग बंद होने पर भी अब घाटी में रसोई गैस की कमी नहीं होगी। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने बुधवार को प्रतिदिन 3240 सिलेंडर भरने और उनकी आपूर्ति में समर्थ एलपीजी बाटलिंग प्लांट का अनंतनाग में उद्घाटन किया। इंडियन आयल कार्पाेरेशन लिमिटेड ने यह प्लांट वेसु निपोरा में स्थापित किया है।

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    घाटी में 15 लाख के लगभग गैस कनेक्शन हैं। हर वर्ष लगभग 65 लाख सिलेंडर एलपीजी की खपत हाेती है। श्रीनगर-जम्मू हाईवे के बंद होने पर वादी में अन्य पदार्थाें के साथ रसाेई गैस का संकट भी पैदा हो जाता है। प्रशासन आपात स्थिति से निपटने के लिए लगभग एक माह के लिए बफर स्टाक के तौर पर एलपीजी सिलेंडर अपने भंडार में जमा रखता है। सर्दियों में गैस की खपत भी बढ़ती है, क्योंकि कई लोग खाना पकाने के अलावा ठंड से बचाव के लिए गैस हीटर भी इस्तेमाल करते हैं।

    उपराज्यपाल मनाेज सिन्हा ने बाटलिंग प्लांट का उद्घाटन करते हुए कहा कि यह प्लांट घाटी में रसोई गैस की किल्लत को दूर करेगा। उन्होंने इस दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार द्वारा आवास, बिजली, पानी, शौचालय, गैस, सड़क, अस्पताल और स्कूल जैसी बुनियादी सुविधाओं पर विशेष ध्यान दिए जाने का उल्लेख करते हुए कहा कि इससे समाज का प्रत्येक वर्ग लाभान्वित हुआ है।

    सामाजिक सुरक्षा और कल्याणकारी योजनाओं का शतप्रतिशत लक्ष्य काे प्राप्त कर गरीबों, किसानों और समाज के वंचित वर्ग के जीवन स्तर में सुधार किया है।उज्जवाल जैसीे सामाजिक अांदोलनों ने महिलाओं के जीवन में एक क्रांतिकारी बदलाव लाया है। उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर में भी इनका असर देखा गया है और आज जम्मू कश्मीर एक नए आत्मविश्वास के साथ शानदार भविष्य की तरफ बढ़ रहा है।

    उन्हाेंने उज्ज्वला योजना का जिक्र करते हुए बतया कि उज्ज्वला योजना 1.0 के अंतर्गत देशभर में वंचितों, पिछड़ों और जनजातीय वर्गाें से संबंधित आठ करोड़ लोगों को एलपीजी कनेक्शन उपलब्ध कराए गए हैं, जबकि इस योजना के दूसरे चरण में कम आय वाल एक करोड़ परिवारों को एलपीजी कनेक्शन प्रदान करने का लक्ष्य रखा गया है। दूसरे चरण में उन लोगों को शामिल किया गया है जो पहले चरण में इसके लाभ से वंचित रहे हैं।

    उपराज्यपाल ने कहा कि जम्मू कश्मीर में भी उज्ज्वला से कई परिवार लाभान्वित हुए हैं। इस योजना के पहले चरण में 12.41 लाख परिवारों को गैस कनेक्शन प्रदान किए गए हैं। हमारा प्रयास है कि कम आय वाले जो भी परिवार इस सुविधा से वंचित रहे हैं, उन्हें भी यह लाभ मिले। इसलिए सबंधित प्रशासन के अधिकारियों को सुनिश्चित करना चाहिए कि कोई भी पात्र लाभार्थी उज्जवला योजना के तहत न छूटे।

    उन्होंने इस दौरान गांव की ओर कार्यक्रम के चौथे चरण के तहत जन सेवा गारंटी अधिनियम के दायरे में आने वाली सभी सेवाओं के बारे में जनजागरूकता अभियान का भी उल्लेख किया। इंडियन आयल कार्पाेरेशन लिमिटेड के प्रदेश प्रमुख और कार्यकारी निदेशक जितेंद्र कुमार ने इससे पूर्व अपने भाषण में जम्मू कश्मीर में पेट्रोलियम पदार्थाें की उपलब्धता का ब्योरा देते हुए बताया कि जम्मू प्रांत में सीएनजी से संबंधित बुनियादी ढांचा भी स्थापित किया गया है।

    कार्बन न्यूट्रल बनने की दिशा में हो रहा है काम

    डा. जितेंद्र सिंह ने बताया कि वर्ष 2046 तक कार्बन न्यूट्रल बनने की अवधारणा पर आइओसीएल निरंतर काम कर रहा है। उन्होंने बताया कि यह नया संयंत्र पांच एकड़ में फैला हुआ है और इसकी वार्षिक क्षमता 12 हजार मीट्रिक टन है। रोजाना यहां 10 एलीपीजी ट्रक अथवा 3240 गैस सिलेंडर की आपूर्ति की जाएगी। यहां से सिर्फ इंडियन आयल के वितरकों को ही नहीं बीपीसीएल और एचपीसीएल के वितरकों को भी गैस सिलेंडर की आपूर्ति होगी।