'पुलिस मेरी, बाकी सब सरकार का', LG मनोज सिन्हा ने मजाक-मजाक में कह दी बड़ी बात
जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा है कि उनके पास केवल पुलिस विभाग है जबकि बाकी सभी विभाग निर्वाचित सरकार के अधीन हैं। उन्होंने यह बात कुलगाम में एक कृषि कार्यक्रम के दौरान किसानों से कही। किसानों ने फसल बीमा योजना में बागवानी को शामिल करने की मांग की जिसपर एलजी ने कहा कि सरकार उनकी मांगों पर विचार कर सकती है।

नवीन नवाज, श्रीनगर। केंद्र शासित जम्मू कश्मीर प्रदेश में बीते आठ माह से निर्वाचित सरकार अक्सर अपनी जवाबदेही से बचने के लिए कहती आ रही है कि उसके पास पर्याप्त अधिकार नही हैं। आम जनता भी यही मानकर चल रही है कि सबकुछ उपराज्यपाल के पास है और निर्वाचित सरकार के पास कोई अधिकार नहीं है। अलबत्ता, शनिवार को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने स्थिति स्पष्ट कर दी। उन्होंने कहा कि मेरे पास क्या है-पुलिस। बाकी सब विभाग निर्वाचित सरकार के अधिकार में है।
आज दक्षिण कश्मीर के खुडवनी कुलगाम में विकसित कृषि संकल्प अभियान के समापन समारोह के दौरान उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने मजाक-मजाक में अपने प्रशासनिक अधिकार की सीमाओं को स्पष्ट कर दिया।
समारोह में मौजूद किसानों ने अपनी विभिन्न समस्याओं की तरफ उपराज्यपाल का ध्यान दिलाते हुए उनके समाधान का आग्रह किया। सबसे प्रमुख मांग फसल बीमा योजना में बागवानी को शामिल करने की थी। किसानों ने अप्रत्याशित मौसम और फसल नुकसान से उनकी उपज की सुरक्षा के लिए उपराज्यपाल से कोई ठोस उपाय करने और फसल बीमा योजना का लाभ सुनिश्चित करने का आग्रह किया।
उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने उनकी मांगों का जिक्र कतरे हुए मजाकिया अंदाज में कहा, आपने कहा, 'एलजी साहब, हमें कुछ दीजिए।' मैं आपको केवल पुलिस कर्मी दे सकता हूं। बाकी सब सड़क, पानी, बिजली, कृषि सरकार के पास है। अगर सरकार आपकी मांगों को मान लेती है तो मुझे कोई आपत्ति नहीं होगी। उन्होंने किसान समुदाय के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए कहा कि कृषि और कृषकों के समग्र एवं समावेशी विकास के लिए सरकार प्रतिबद्ध है।
कश्मीर मामलों के जानकार बिलाल बशीर ने कहा कि उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने जो कहा है,उसके मायने खास हैं। मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के नेतृत्व में निर्वाचित सरकार को सत्तासीन हुए आठ माह बीत रहे हैं और अक्सर मुख्यमंत्री और उनके कैबिनेट मंत्री व उनकी पार्टी के नेता यही कहते हैं कि पूर्ण राज्य होता तो वह जनता के साथ किए गए सभी वादे पूरे कर देते।
उन्होंने कहा कि सभी अधिकार उपराज्यपाल के पास हैं और आमजन भी यही मानता है कि निर्वाचित सरकार के पास सीमित अधिकार हैं। बेशक उपराज्यपाल के पास अंतिम निर्णय लेने का अधिकार है,लेकिन निर्वाचित सरकार के पास पुलिस,गृह विभाग की जिम्मेदारी नहीं है।
उपराज्यपाल ने आज स्वयं स्थिति स्पष्ट कर दी है कि पुलिस विभाग को छोड़कर, बिजली, पानी, कृषि और सड़क जैसे अन्य सभी विभाग सरकार के अधिकार क्षेत्र में आते हैं। उन्होंने किसानों से कहा है कि अगर सरकार आपकी मांगों को मान लेती है तो मुझे कोई आपत्ति नहीं होगी। मतलब यही कि निर्वाचित सरकार को फैसला लेना है, उन्हें नहीं।
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