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    'आतंकवाद के खिलाफ 360 डिग्री की रणनीति', LG मनोज सिन्हा ने आतंक समर्थकों पर कड़ी कार्रवाई के दिए निर्देश

    Updated: Sun, 23 Nov 2025 11:22 PM (IST)

    उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ 360-डिग्री रणनीति का उद्देश्य आतंकी तंत्र को खत्म करना है। उन्होंने अधिकारियों को सतर्क रहने और आतंक समर्थकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए। जम्मू-कश्मीर पुलिस को आतंकी नेटवर्क ध्वस्त करने के लिए सराहा गया। 

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    LG मनोज सिन्हा ने आतंक समर्थकों पर कड़ी कार्रवाई के दिए निर्देश, फोटो जागरण

    राज्य ब्यूरो, जम्मू। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ हमारी 360-डिग्री रणनीति है जिसमें आतंक वित्तपोषण, नार्को-टेरर लिंक, ओवर ग्राउंड वर्कर्स और समर्थकों पर कड़ी कार्रवाई शामिल है, का उद्देश्य आतंकियों को सहयोग देने वाले तंत्र को खत्म करना है।

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    हमारे समन्वित प्रयास यह सुनिश्चित करेंगे कि जम्मू-कश्मीर से आतंक तंत्र का एक भी अवशेष न बचे। उपराज्यपाल ने अधिकारियों को उभरती सुरक्षा चुनौतियों के प्रति सतर्क और चौकस रहने के निर्देश दिए।

    उन्होंने आतंकवाद के प्रति जीरो टालरेंस नीति पर जोर देते हुए कहा कि आतंक समर्थकों, ओवर ग्राउंड वर्कर्स और युवाओं को भटकाने की कोशिश करने वाले तत्वों के खिलाफ सबसे कड़ी कार्रवाई की जाए। उपराज्यपाल ने आज रविवार को जम्मू संभाग की सुरक्षा स्थिति की समीक्षा के लिए एक उच्च-स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की।

    बैठक में मुख्य सचिव अटल डुल्लू, पुलिस महानिदेशक नलिन प्रभात, विशेष महानिदेशक (कोऑर्डिनेशन) एसजेएम गिलानी, गृह विभाग के प्रमुख सचिव चंद्राकर भारती, एडीजीपी सीआईडी नीतीश कुमार, उपराज्यपाल के प्रमुख सचिव डा. मंदीप भंडारी, आईजीपी जम्मू भीम सेन टूटी, जम्मू के डिवीजनल कमिश्नर रमेश कुमार, आईजीपी ट्रैफिक एम सुलेमान चौधरी तथा जम्मू संभाग के डीआईजी, डिप्टी कमिश्नर और एसएसपी उपस्थित थे। उपराज्यपाल ने जम्मू-कश्मीर पुलिस को पैन-इंडिया आतंकी नेटवर्क को ध्वस्त करने में की गई त्वरित कार्रवाई और सटीक जांच के लिए बधाई दी।

    उपराज्यपाल ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि खुफिया-आधारित आपरेशन तेज किए जाएं, डिजिटल प्लेटफार्म पर निगरानी बढ़ाई जाए, जिनका उपयोग आतंकी संगठन कट्टरपंथ फैलाने और फंडिंग के लिए कर रहे हैं। उपराज्यपाल ने यह भी कहा कि सुरक्षा एजेंसियां समन्वय के साथ काम करें और सुनिश्चित करें कि शांति-विरोधी तत्वों को किसी भी स्तर पर जगह न मिले।