जम्मू-कश्मीर पुलिस ने आतंकी फंडिंग नेटवर्क का किया पर्दाफाश, दिल्ली से दो लोग गिरफ्तार
जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंटर इंटेलीजेंस कश्मीर शाखा ने आतंकी वित्तपोषण नेटवर्क का भंडाफोड़ किया है। नई दिल्ली के लाजपत नगर में शालीमार टेक्सटाइल्स पर छापेमारी में मालिक और उसके साथी को गिरफ्तार किया गया। यह नेटवर्क लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ा है जिसमें खाड़ी देशों से हवाला के माध्यम से धन भेजा जा रहा था।

राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंटर इंटेलीजेंस कश्मीर (सीआइके) शाखा ने कश्मीर में आतंकियों और अलगाववादियों को वित्तीय सहायता प्रदान करने वाले एक नेटवर्क का पर्दाफाश किया है।
बुधवार को सीआइके ने नई दिल्ली के लाजपत नगर में स्थित शालीमार टेक्सटाइल्स पर छापेमारी की, जिसमें प्रतिष्ठान के मालिक और उसके साथी को गिरफ्तार किया गया है। दोनों से पूछताछ जारी है।
सूत्रों के अनुसार, सीआइके ने पिछले वर्ष आतंकियों के वित्तीय नेटवर्क का पता चलने पर जांच शुरू की थी। इस मामले से लश्कर-ए-तैयबा के आकाओं द्वारा रची गई साजिश का पर्दाफाश हुआ है, जिसमें खाड़ी देशों और अन्य क्षेत्रों में बसे पाकिस्तानी नागरिकों के साथ मिलकर कश्मीर में आतंकी फंडिंग की जा रही थी।
कूरियर नेटवर्क के जरिए की जा रही थी जांच
यह फंडिंग मक्का-मदीना जाने वाले हाजियों, व्यापारियों और विदेशों में काम करने वाले नागरिकों के माध्यम से कूरियर नेटवर्क के जरिए की जा रही थी। जांच के दौरान सीआइके ने बड़गाम के मोहम्मद अयूब बट को लाजपत नगर में शालीमार टेक्सटाइल्स का मालिक पाया।
वह केवल एक दिखावे का कारोबारी है, जबकि उसका असली काम घाटी में लश्कर की आतंकी गतिविधियों के लिए वित्तीय नेटवर्क संचालित करना है।
फोरेंसिंक विश्लेषण किया गया
उसका साथी मोहम्मद रफीक शाह भी इसी कार्य में लिप्त था। रफीक श्रीनगर के एसडीए कॉलोनी बेमिना का रहने वाला है। तलाशी के दौरान उसके ठिकानों से डिजिटल उपकरण बरामद हुए हैं जो पाकिस्तानी आकाओं के साथ बातचीत और हवाला नेटवर्क के माध्यम से भेजी गई धनराशि की पुष्टि करते हैं। इन उपकरणों का फोरेंसिक विश्लेषण किया जा रहा है।

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