प्रतिबंध बेअसर, खूब हो रहा पालिथीन व सिंगल यूज प्लास्टिक का इस्तेमाल
संवाद सहयोगी पुंछ सिंगल यूज प्लास्टिक और पालीथिन के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाने के बाद भी सुंद
संवाद सहयोगी, पुंछ : सिंगल यूज प्लास्टिक और पालीथिन के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाने के बाद भी सुंदरबनी में इसका धड़ल्ले से उपयोग हो रहा है। प्रशासन प्रतिबंध लगाने के बाद भी इससे रोकने में नाकाम साबित हो रहा है। बुधवार को कांग्रेस के जिला महासचिव युवा नेता सर्वजीत शर्मा ने आरोप लगाते हुए कहा कि पालीथिन, प्लास्टिक के कप, प्लेट कई बीमारियों को न्योता दे रहे हैं। इसके बावजूद इन सब पर प्रशासन रोक लगाने में नाकाम साबित हो रहा है।
उन्होंने कहा कि उपनगर के कई ढाबे, चाय की दुकान, होटल, रेहड़ी-फड़ी आदि पर पालीथिन व प्लास्टिक के बनाए कप, प्लेट में खाने-पीने वाली चीजें ग्राहकों को दी जा रही हैं, जो गंभीर बीमारियों को हर दिन निमंत्रण दे रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने दो अक्टूबर 2019 से सिगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध लगा रखा है। सरकार का मकसद वर्ष 2022 के अंत तक देश को पालीथिन मुक्त बनाने का था। इस उद्देश्य से एक जुलाई 2022 को सिंगल यूज प्लास्टिक व पालीथिन पर पूर्णत: प्रतिबंध लगा दिया गया है।
उन्होंने कहा कि नगरपालिका, खाद्य आपूर्ति विभाग सहित सुंदरबनी प्रशासन की ओर से पालीथिन और सिगल यूज प्लास्टिक को प्रतिबंधित करने के लिए ठोस कदम नहीं उठाए जा रहे हैं। अब भी उपनगर में पालीथिन और सिंगल यूज प्लास्टिक का इस्तेमाल धड़ल्ले से हो रहा है। प्रशासन की उदासीनता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि फड़ी से लेकर फुटकर और थोक विक्रेताओं की दुकानों में इसका प्रयोग खूब हो रहा है। नतीजतन गलियों, सड़कों और नालियों में पालीथिन और प्लास्टिक के ढेर लगे हुए हैं। नालियों में पालीथिन अटकने के कारण जल निकासी व्यवस्था भी चरमरा जाती है। उन्होंने पालीथिन व प्लास्टिक कप प्लेट पर रोक लगाने की प्रशासन से मांग उठाई है।