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    Jammu Flood: बाढ़ से कुंथल तरनाह नाले में तबाही, SDM ने किया दौरा

    एसडीएम फुलैल सिंह ने कुंथल तरनाह नाले का दौरा कर बाढ़ से हुए नुकसान का जायजा लिया। किसानों ने फसल नुकसान और भूमि कटाव की शिकायत की। उन्होंने उचित मुआवजे और नाले पर पक्के बांध बनाने की मांग की। एसडीएम ने नुकसान का आकलन कर चैनल बनाने का आश्वासन दिया ताकि पानी के बहाव को नियंत्रित किया जा सके।

    By rajinder mathur Edited By: Prince Sharma Updated: Thu, 21 Aug 2025 04:03 PM (IST)
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    एसडीएम ने तरनाह नाले का दौरा कर बाढ़ से हुए नुक्सान का‌ जायजा लिया।

    संवाद सहयोगी, हीरानगर। उपमंडल हीरानगर के एसडीएम फुलैल सिंह ने वीरवार को कुंथल तरनाह नाले का दौरा कर बाढ़ से हुए नुकसान का जायजा लिया। इस दौरान उनके साथ तहसीलदार अनुप कुमार,कृषि विभाग के एसडीओ अश्विनी शर्मा, बाढ़ नियंत्रण विभाग एई ललित कुमार एईओ विनोद शर्मा स्थानीय किसान मौजूद रहे।

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    इस दौरान एसडीएम ने बाढ़ से हुए भूमि कटाव और फसलों के नुकसान का प्रत्यक्ष रूप से अवलोकन किया। उन्होंने बाढ़ नियंत्रण विभाग को निर्देश दिए कि पानी के बहाव को मोड़ने के लिए नाले में चैनल बनाया जाए ताकि आने वाले दिनों में किसानों की फसलें बच सकें।

    वहीं कृषि विभाग को भी प्रभावित भूमि व फसलों के नुकसान का ब्यौरा तैयार कर रिपोर्ट पेश करने को कहा गया। इस मौके पर स्थानीय किसान सरदारी लाल, अशोक कुमार ,राम सिंह और अन्य किसानों ने बताया कि हर साल इस क्षेत्र में बाढ़ आने से फसलें पूरी तरह बर्बाद हो जाती हैं, पिछले कुछ सालों में सैकड़ों कनाल उपजाऊ भूमि बाढ़ की भेंट चढ़ चुकी है,देव स्थान के भवन को भी नुक्सान पंहुच रहा है।

    किसानों ने आरोप लगाया कि विभागीय स्तर पर बांध बनाने के लिए प्रस्ताव तो भेजे जाते हैं, लेकिन फंड स्वीकृत न होने के कारण समस्या वर्षों से जस की तस बनी हुई है। उन्होंने कहा कि बाढ़ से न केवल किसानों की मेहनत बर्बाद होती है बल्कि क्षेत्र में स्थित बिरादरियों के देवस्थानों को भी नुकसान पहुंचता है।

    किसानों ने एसडीएम से मांग की कि उन्हें फसलों के नुकसान का उचित मुआवजा दिया जाए और स्थायी समाधान के लिए पक्के बांध बनाए जाएं। वहीं एसडीएम फुलैल सिंह ने किसानों को आश्वासन देते हुए कहा कि नुकसान का ब्यौरा तैयार करने के लिए कृषि विभाग को आदेश दिए गए हैं और शुक्रवार से ही नाले में चैनल बनाने का कार्य शुरू कर दिया जाएगा ताकि पानी के बहाव को नियंत्रित किया जा सके।