तीन वर्ष से बार्डर बटालियन में भर्ती होने का इंतजार कर रहे युवाओं ने किया प्रदर्शन, पुलिस से धक्कामुक्की
जम्मू कश्मीर पुलिस द्वारा सीमावर्ती जिलों में बार्डर बटालियन खड़ी करने के लिए वर्ष 2019 में लिए गए आवेदन में शारीरिक टेस्ट में पास हुए युवाओं की लिखित परीक्षा लेने की बजाय दोबारा भर्ती रैली के लिए विज्ञापन निकाल दिया।
जागरण संवाददाता, जम्मू : सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले युवाओं के लिए गठित की जा रही बार्डर बटालियन में भर्ती का पिछले तीन वर्षों से इंतजार कर रहे युवाओं ने शनिवार को तवी पुल को बंद कर प्रदर्शन किया। प्रदर्शन कर रहे युवाओं में युवतियां भी शामिल थीं और उनका कहना था कि वे फिजिकल टेस्ट पास कर चुके हैं लेकिन तीन वर्ष से उनकी लिखित परीक्षा नहीं ली गई। अब सरकार ने दोबारा अधिसूचना जारी कर बटालियन के लिए नई भर्तियां निकाली हैं लेकिन उन्हें अब तक भर्ती नहीं किया गया है।
युवाओं ने इस मौके पर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और सरकार पर भर्तियों में घोटाला करने का आरोप लगाया।उधर प्रदर्शन करते हुए कुछ युवा तवी पुल की रेलिंग पर चढ़कर नीचे कूदने लगे तो पुलिस ने उन्हें पकड़ लिया। बाद में युवाओं को हटाने के लिए पुलिस ने हलका बल प्रयोग किया तो वहां दोनों ओर से धक्का-मुक्की की नौबत भी आ गईप्रदर्शन कर रहे युवा पहले तवी पुल के पास महाराजा हरि सिंह स्मारक के पास एकत्रित हुए जहां नारेबाजी करते हुए वे तवी पुल की ओर बढ़ने लगे। उधर युवाओं को तवी पुल की ओर बढ़ता देख पुलिस भी मौके पर पहुंच गई और उन्होंने तवी पुल बंद करने का प्रयास कर रहे युवाओं को हटाने का प्रयास शुरू कर दिया।
युवाओं का कहना था कि उन्होंने इस बटालियन में भर्ती होने के लिए कड़ी मेहनत की है। उनके फिजिकल टेस्ट हो चुके हैं लेकिन सरकार उनकी लिखित परीक्षा को टालते हुए आ रही थी। अब दोबारा इस बटालियन में भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की जा चुकी है यानि जो तीन वर्ष पहले बच्चा था, आज वह भी बटालियन में भर्ती के योग्य हो चुका है लेकिन जो तीन वर्षों से इंतजार कर रहे हैं, सरकार उनकी परीक्षा ही नहीं ले रही है।
उधर मौके पर पहुंचे पुलिस अधिकारियों ने युवाओं को समझाने का प्रयास किया लेकिन वे मानने को तैयार नहीं थे। उनका कहना था कि उन्हें उपराज्यपाल से काफी उम्मीदें थी लेकिन उपराज्यपाल ने भी उन्हें अब तक मायूस किया है। काफी देर तक जब युवा मौके से हटने को तैयार नहीं हुए तो पुलिस ने उन्हें जबरन वहां से हटाकर यातायात सुचारू करवाया। वहीं प्रदर्शन कर रहे युवाओं का कहना था कि अब तक वे शांति से अपनी मांग रखते आ रहे थे। अगर सरकार ने उनकी नहीं सुनी तो वे आंदोलन तेज कर देंगे।