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    जम्मू-कश्मीर: किश्तवाड़ में आतंकियों की धरपकड़ के लिए तीसरे दिन भी ऑपरेशन जारी, सेना हेलीकॉप्टर और ड्रोन से खंगाल रही जंगल

    Updated: Fri, 04 Jul 2025 04:00 PM (IST)

    जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ में सुरक्षाबलों और आतंकवादियों के बीच मुठभेड़ के बाद भागे हुए आतंकियों की खोज तीसरे दिन भी जारी है। किश्तवाड़ के कुछल इलाके में तलाशी अभियान में हेलीकॉप्टर ड्रोन और खोजी कुत्तों का इस्तेमाल किया जा रहा है। सुरक्षाबलों ने इलाके की घेराबंदी मजबूत कर दी है और अतिरिक्त जवानों को तैनात किया है। आतंकवादी जंगल में छिपे हुए हैं और उन्हें जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।

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    किश्तवाड़ के छातरू इलाके में आतंकवादियों की धरपकड़ के लिए सुरक्षाबलों का तलाशी अभियान तीसरे दिन भी जारी रहा।

    डिजिटल डेस्क, जम्मू। वार्षिक अमरनाथ यात्रा को सुरक्षित व सफल बनाने के लिए सुरक्षाकर्मी मुस्तैदी बनाए हुए हैं। आतंकी मंसूबों को नाकामयाब बनाने के लिए राष्ट्रीय मार्ग ही नहीं उससे जुड़े पहाड़ी इलाकों पर भी पैनी नजर रखी जा रही है। ऐसे में जिला किश्तवाड़ के कुछल इलाके में सुरक्षाबलों से मुठभेड़ के बाद फरार आतंकवादियों की तलाश आज तीसरे दिन भी जारी रही। आतंकवादियों की धरपकड़ के लिए सुरक्षाकर्मी हेलीकाप्टर, ड्रोन के जरिए आसमान से जबकि खोजी कुत्तों की मदद से जमीन पर तलाशी अभियान चलाए हुए हैं।

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    सुरक्षाबलों ने बताया कि इलाके में घेराबंदी को मजबूत करने के लिए सुरक्षाबलों की अतिरिक्त तैनाती की गई है। यह अभियान बुधवार को कुछल-छातरू बेल्ट के घने जंगलों वाले कंजल मांडू इलाके में आतंकवादियों और सुरक्षा बलों के बीच हुई मुठभेड़ के बाद शुरू किया गया है। मुठभेड़ तब शुरू हुई जब सेना और सीआरपीएफ की मदद से पुलिस ने इलाके में आतंकवादियों की मौजूदगी की खुफिया जानकारी के आधार पर शाम करीब 7:45 बजे कुछल में घेराबंदी और तलाशी अभियान शुरू किया।

    छिपे हुए आतंकवादियों का पता लगाने के लिए छातरू के जंगलों में तलाशी बढ़ा दी गई है। अधिकारियों ने इस बात का दावा किया कि आतंकी अभी भी जंगल में छिपे हुए हैं। घेराबंदी को मजबूत बनाने के लिए सुरक्षाबलों की संख्या को बढ़ाया गया है। बहुत जल्द आतंकवादियों को पकड़ या फिर ढेर कर दिया जाएगा। जंगल के आसपास के गांवों में रहने वाले लोगों को भी सचेत कर दिया गया है। कोई भी संदिग्ध गतिविधि देखने पर तुरंत स्थानीय पुलिस या फिर सेना को सूचित करने की सलाह दी गई है।

    उन्होंने बताया कि तलाशी अभियान में हेलीकाप्टर, ड्रोन और खोजी कुत्तों का भी इस्तेमाल किया जा रहा है। इस घटना के बाद वार्षिक अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा व्यवस्था को भी और मजबूत किया गया है। गत बुधवार की मुठभेड़ पिछले एक सप्ताह में जम्मू क्षेत्र में दूसरी मुठभेड़ थी। 26 जून को पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद का एक आतंकवादी सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में मारा गया था जबकि उसके तीन साथी ऊधमपुर जिले के बसंतगढ़ के घने जंगलों में भागने में सफल रहे थे।

    इसी बीच पुलिस प्रबंधन ने बताया कि अमरनाथ यात्रा के सुचारू और सुरक्षित संचालन को सुनिश्चित करने के लिए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। यात्रा मार्ग पर पुलिस, सीआरपीएफ, आईटीबीपी और अन्य अर्धसैनिक बलों के हजारों जवान तैनात किए गए हैं।

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