रेलवे से कश्मीर के सेब उत्पादकों को राहत, पार्सल ट्रेन से देश के विभिन्न हिस्सों में पहुंचा 6400 टन सेब
जम्मू मंडल ने सेब उत्पादकों के लिए राहत देते हुए कश्मीर से दिल्ली और अन्य मंडियों तक पार्सल ट्रेनों से लगभग 6400 टन सेब पहुंचाया है। रेलवे ने बड़गाम से दिल्ली और जम्मू के लिए दो पार्सल वेन कोच रवाना किए थे। इसके अतिरिक्त बड़ी ब्राह्मणा से बड़गाम तक 500 टन से अधिक सरसों का तेल भी पहुंचाया गया है।

जागरण संवाददाता, जम्मू। उत्तर रेलवे के जम्मू मंडल ने सेब उत्पादकों और व्यापारियों के लिए बड़ी राहत देते हुए कश्मीर से दिल्ली और अन्य मंडियों तक पार्सल ट्रेनों से अब तक घाटी से लगभग 6400 टन सेब देश के विभिन्न हिस्सों में पहुंचाया जा चुका है।
रेलवे प्रवक्ता के अनुासर 11 सितंबर कश्मीर को बड़गाम से दिल्ली और जम्मू के लिए दो पार्सल वेन कोच रवाना कर सेवा की शुरुआत की थी। प्रत्येक कोच में करीब 23 टन माल लोड किया गया। इसमें से एक कोच ने बडगाम से आदर्श नगर दिल्ली तक का सफर 21 घंटे से भी कम समय में पूरा किया, जबकि दूसरा कोच छह घंटे से भी कम समय में जम्मू पहुंच गया।
इतना ही नहीं, इसी ट्रेन के जरिये बड़ी ब्राह्मणा से बड़गाम तक अब तक 500 टन से अधिक सरसों का तेल और अन्य खाद्य सामग्री भी पहुंचाई गई है, ताकि सड़क संपर्क बाधित होने पर आपूर्ति प्रभावित न हो। इसके बाद 15 सितंबर को उपराज्यपाल की मौजूदगी में आठ पार्सल वेन कोच ट्रेन श्रीनगर से दिल्ली के लिए रवाना की जिसने सड़क मार्ग की तुलना में बेहद कम समय में गंतव्य पूरा किया।
रेलवे अधिकारियों के अनुसार, अनंतनाग गुड्स शेड टर्मिनल से बीसीएन कवर्ड वैगन और पार्सल कोच के माध्यम से बड़े पैमाने पर सेब की ढुलाई की गई है। हाल ही में शुरू की पार्सल ट्रेन सेवा ने सेब परिवहन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
सीनियर डिवीजनल कामर्शियल मैनेजर उचित सिंघल ने बताया कि रेलवे का यह कदम उत्पादकों और व्यापारियों को सेब समय पर बाजार तक पहुंचाने में मददगार साबित हो रहा है। उन्होंने कहा कि जल्द ही बारामुला रेलवे स्टेशन से भी पार्सल रेक सेवा शुरू की जाएगी। इस मौके पर कश्मीर के व्यापारी वर्ग ने कहा कि हाईवे बंद होने के कारण रेलवे कश्मीर की लाइफ बनी हुई है।
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