जम्मू की सांस्कृतिक धरोहर मुबारक मंडी पैलेस का नया अवतार, अत्याधुनिक लाइब्रेरी और कैफेटेरिया बनेगा आकर्षण का केंद्र
जम्मू का मुबारक मंडी पैलेस नए रूप में तैयार हो रहा है। यहाँ आधुनिक लाइब्रेरी और कैफेटेरिया बनाए जा रहे हैं, जो पर्यटकों और स्थानीय लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र होंगे। इस परियोजना का उद्देश्य सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करना और पर्यटन को बढ़ावा देना है।

यह पहल जम्मू की पहचान को बनाए रखने में मदद करेगी।
दिनेश महाजन, जागरण, जम्मू। जम्मू आने वाले पर्यटक जल्द ही डोगरा राजाओं की ऐतिहासिक धरोहर का अनुभव एक नई शैली में कर सकेंगे। ऐतिहासिक मुबारक मंडी पैलेस कांम्प्लेक्स में जम्मू स्मार्ट सिटी लिमिटेड द्वारा अत्याधुनिक लाइब्रेरी और कैफेटेरिया बन कर तैयार हो गई है। जल्द ही इसका उद्धाटन होले वाला है।
इस परियोजना को जम्मू-कश्मीर के सांस्कृतिक एवं पर्यटन विकास के लिए एक अहम कदम माना जा रहा है। मुबारक मंडी महल परिसर में तैयार हुआ कैफेटेरिया पर्यटकों को राजसी माहौल का अनुभव कराएगा।
इसका सिविल और इलेक्ट्रिकल कार्य लगभग पूर्ण हो चुके हैं और अब पुरातन शैली का फर्नीचर भी लगाया जा चुका है। यह कैफेटेरिया सेंट्रल एयर-कंडीशनिंग के साथ इनडोर और आउटडोर बैठने की सुविधा देगा, ताकि हर मौसम में सैलानी आराम से समय बिता सकें।
इतिहास को समर्पित लाइब्रेरी
मुबारक मंडी महल परिसर में बनी लाइब्रेरी केवल जम्मू-कश्मीर के इतिहास पर केंद्रित होगी। यहां आने वाले लोग डोगरा शासकों, क्षेत्र के गठन, पुरातन व आधुनिक विरासत, और ऐतिहासिक घटनाओं के बारे में अध्ययन कर सकेंगे। काफी या चाय के साथ इतिहास की झलक पाना इस स्थान को एक अनोखा अनुभव बनाएगा।
विरासत संरक्षण के साथ विकास
जम्मू स्मार्ट सिटी परियोजना द्वारा तैयार किए गए इस प्रोजेक्ट की निगरानी मुबारक मंडी जम्मू हेरिटेज सोसाइटी द्वारा की गई है, ताकि ऐतिहासिक महत्व को बनाया रखा जा सके। इसके निर्माण में करीब 3.29 करोड़ रुपये की लागत आई है। यह सुविधा आने वाले वर्षों में पर्यटन और शिक्षा दोनों को बढ़ावा देने का काम करेगी। हाल ही में प्रदेश के मुख्य सचिव अतल डुल्लू ने भी इस स्थल का निरीक्षण किया और कार्य को पेशेवर ढंग से पूरा करने के निर्देश दिए थे।
मुबारक मंडी केवल एक ऐतिहासिक धरोहर नहीं, बल्कि जम्मू की आत्मा है। हमारा प्रयास है कि इस स्थान को पुनर्जीवित करते हुए इसे आधुनिक पर्यटन और सांस्कृतिक अनुभव का केंद्र बनाया जाए। कैफेटेरिया और लाइब्रेरी जैसी सुविधाएं स्थानीय लोगों और पर्यटकों दोनों को डोगरा संस्कृति से जोड़ेंगी। यह परियोजना स्मार्ट सिटी मिशन के तहत विरासत संरक्षण और समावेशी विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। - देवांश यादव, सीईओ, जम्मू स्मार्ट सिटी लिमिटेड

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