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    शाम ढलते ही अतिक्रमण से पट जाते हैं जम्मू केसी मोड़ के फुटपाथ, राहगीरों को हो रही परेशानी, प्रशासन बना मूकदर्शक

    By Anchal Singh Edited By: Rahul Sharma
    Updated: Wed, 15 Oct 2025 05:41 PM (IST)

    जम्मू के केसी मोड़ पर शाम होते ही फुटपाथ अतिक्रमण से भर जाते हैं, जिससे राहगीरों को चलने में दिक्कत होती है। दुकानदारों और फेरीवालों के कारण पैदल चलने वालों के लिए जगह नहीं बचती, जिससे दुर्घटना का खतरा बना रहता है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से इस समस्या पर ध्यान देने और अतिक्रमण हटाने की मांग की है।

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    फुटपाथ पर अतिक्रमण वालों को किसी का भी भय नहीं है।

    जागरण संवाददाता, जम्मू। शहर का केसी मोड व इंदिरा चौक आज भी राहगीरों के लिए खतरनाक है क्योंकि यहां फुटपाथों पर कब्जा होने के चलते लोगों को सड़कों पर चलना पड़ता है। केसी मोड से इंदिरा चौक की तरफ फुटपाथों पर सजे बाजार सरकारी गंभीरता पर सवालिया निशान लगाते हैं।

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    शाम ढलने के साथ तो केसी माेड से इंदिरा चौक तक फुटपाथ फड़ियों व रेहड़ियों से पट जाते हैं। हालांकि रात 9.00 बजे इन्हें हटवाने के लिए पुलिस की टुकड़ियां पहुंचती है तो आनन-फानन में यहां सजी फल-सब्जी व अन्य सामान की रेहड़ियां हट जाती हैं। दिन भर यहां फुटपाथ पर सामान सजाकर बेचने वालों की संख्या दर्जनों में है।

    यह स्थिति तब है जब इस इलाके में जम्मू नगर निगम आए दिन अभियान चलाता ही रहता है। अधिकतर रेहड़ी वाले प्रवासी हैं और कई बार निगम कर्मचारियों के साथ तू-तू, मैं-मैं के हालात यहां अभियान के दौरान बनते रहे हैं। गरीबी का वास्ता देने वाले अधिकतर लोग बिना किसी लाइसेंस और अनुमति के यहां रेहड़ियां-फड़ियां लगाते हैं।

    इस कारण यहां लोगाें को जान जोखिम में डाल कर सड़क पर चलने को मजबूर होना पड़ता है। हालांकि साफ-सफाई के नाम पर निगम कर्मचारी कुछ रेहड़ी-फड़ी वालों से पैसे भी वसूलते हैं। इसी कारण रेहड़ी-फड़ी वालों को किसी का भय नहीं। इन्हाेंने फुटपाथों पर अपनी-अपनी जगह की निशादेही तक कर रखी है।

    जम्मू की पहचान रहा है यह चौक

    जम्मू के मुख्य बस स्टैंड के नजदीक बना केसी चौक शहर का प्रसिद्ध क्षेत्र है। केसी थिएटर के नजदीक होने के चलते इसका नाम केसी चौक से मशहूर हुआ। करीब 40 वर्ष पहले यहां से ही सिटी बसें चला करती थीं। इतना ही नहीं 80 के दशक में यहां से डबल डैकर बसें चलती थीं जो आरएसपुरा तक जाया करती थी।

    क्या कहते हैं लोग

    ‘केसी मोड में हर समय फुटपाथों पर अतिक्रमण रहता है। कोई भी फुटपाथ पर नहीं चल पाता। रेहड़ी-फड़ी वाले कई बार अपनी रेहड़ी-फड़ी की जगह के लिए लड़ते देखे गए हैं। बिना निगम कर्मचारियों की मिलीभगत के संभव नहीं।’ -अजय कुमार, निवासी महेंद्र नगर

    ‘राहगीरों के लिए फुटपाथ बनाए जाते हैं। न कि रेहड़ी-फड़ी वालों के लिए। केसी चौक में तो वर्षों से यह अतिक्रमणकारी मालिक बने बैठे हुए हैं। फुटपाथों को खाली करवाया जाना चाहिए। रेहड़ी-फड़ी वालों के लिए कोई अच्छी जगह चिन्हित होनी चाहिए।’ -विजय सिंह, निवासी पलौड़ा

    ‘रेहड़ी-फड़ी वालों से किसी की दुश्मनी तो नहीं लेकिन फुटपाथ व सड़क किनारे इनके लिए कद्यापि नहीं हैं। कार्रवाई होनी चाहिए। रेहड़ी-फड़ी वालों की संख्या बढ़ रही है। शहर को ग्रहण लग रहा है। प्रशासन सख्ती दिखाना शुरू करे।’ -गुड्डी देवी, निवासी त्रियाठ

    ‘फुटपाथों को खाली करवाना जरूरी है। करोड़ों रुपये खर्च कर इन्हें राहगीरों की सुविधा के लिए बनाया गया है। अब इसकी देखरेख करने वाली एजेंसियों पर कार्रवाई होनी चाहिए जो अतिक्रमण होने देती हैं। आम जनता परेशान नहीं होनी चाहिए।’ -बलविंद्र कुमार मंग्राल, निवासी त्रियाठ 

    क्या कहते हैं अधिकारी

    ‘फुटपाथ पर अतिक्रमण किसी भी सूरत में स्वीकार्य नहीं है। कोई रेहड़ी-फड़ी वाला हो या दुकानदार, बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। निगम की खिलाफवर्जी व राजस्व विंग आए दिन अभियान चलाती है। जुर्माना भी किया जाता है। संयुक्त अभियान भी चलाए गए हैं। आगे भी अभियान जारी रहेंगे।’ -सुबह मेहता, ज्वाइंट कमिश्नर, रेव्न्यू एंड इंफोर्समेंट, जेएमसी