खुशखबरी! जम्मू-कश्मीर में आठ साल बाद फिर होगी शिक्षकों की भर्ती, 3288 पदों को भरेगी सरकार
Jammu Kashmir Teachers Bharti 2025 जम्मू-कश्मीर में शिक्षा विभाग जल्द ही अध्यापकों की भर्ती प्रक्रिया फिर शुरू करेगा। सरकार आठ वर्ष पहले बंद की गई भर्ती प्रक्रिया में से 50% पदों को भरने पर विचार कर रही है। शिक्षा मंत्री सकीना इट्टू ने रोके गए 6576 पदों में से 3288 को भरने के लिए औपचारिकताएं पूरी करने का निर्देश दिया है।

राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में शिक्षा विभाग में जल्द ही अध्यापकों की ( Jammu Kashmir Teacher Bharti 2025) भर्ती प्रक्रिया फिर शुरू होगी। प्रदेश सरकार आठ वर्ष पहले शिक्षकों की बंद की गई भर्ती प्रक्रिया में से 50 प्रतिशत को भरने पर गंभीरता से विचार कर रही है।
पांच अगस्त, 2019 से पहले जम्मू-कश्मीर राज्य के तत्कालीन राज्यपाल सत्यपाल मलिक की अध्यक्षता में हुई प्रदेश प्रशासनिक परिषद की बैठक में (जनरल लाइन टीचर्स) शिक्षकों के 6,576 पदों पर वर्ष 2030 तक रोक लगा दी गई थी।
परिषद ने यह निर्णय रहबर-ए-तालीम और समग्र शिक्षा योजना के तहत नियुक्त शिक्षकों की सेवाओं को नियमित करने व उनके वेतन की निकासी के लिए लिया था। जम्मू-कश्मीर में अध्यापकों की नियमित भर्ती अंतिम बार 2017 में हुई थी।
भर्ती से जुड़ी औपचारिकताएं पूरी करने के निर्देश जारी
संबंधित अधिकारियों ने बताया कि शिक्षा मंत्री सकीना इट्टू ने गत दिनों शिक्षा विभाग के कामकाज की समीक्षा करते हुए अध्यापकों के रोके गए 6,576 पदों में 3,288 पदों को भर्ती के लिए खोलने के लिए सभी आवश्यक औपचारिकताओं को पूरा करने का निर्देश दिया है।
उन्होंने बताया कि शिक्षा विभाग में प्रदेश प्रशासनिक परिषद के निर्णय के मुताबिक, रहबर-ए-तालीम के अध्यापकों के पदों को सम्माहित करने से उपजे हालात और जनरल लाइन टीचर्स की कमी पर विस्तार से चर्चा इुई। मंत्री ने कहा कि रोके गए पदों में से 50 प्रतिशत को डी-फ्रीज कर उनके लिए जल्द भर्ती प्रक्रिया शुरू करने के लिए जम्मू-कश्मीर सेवा चयन बोर्ड को सूचित किया जाए।
बैठक में शिक्षा विभाग में जिला प्रमुख शिक्षाधिकारी, क्षेत्रीय शिक्षाधिकारी और विभिन्न सरकारी स्कूलों में रिक्त पड़े प्रधानाचार्यों और प्रधानाध्यपकों के पदों को भी जल्द भरने के लिए शिक्षा मंत्री ने निर्देश दिए। इसके साथ विभागीय पदोन्नति समिति की बैठक आयोजित करने के लिए जम्मू-कश्मीर लोक सेवा आयोग को भी सूचित करने को कहा गया।
पदोन्नति कोटे से भी अगर किसी अधिकारी को राजपत्रित पद पर पदोन्नत किया जाता है तो भी जम्मू-कश्मीर लोक सेवा आयोग को संबंधित विभाग में रिक्त पड़े राजपत्रित कैडर के पदों के लिए सूचित करना जरूरी है। लोक सेवा आयोग डीपीसी के माध्यम से चुने गए उम्मीदवारों के चयन को आवश्यक औपचारिकताओं के बाद अपनी मंजूरी देता है।
चयन प्रक्रिया 31 जुलाई तक की जाएं पूरी
बैठक में लिए गए फैसले के मुताबिक, विभाग में पदोन्नति कोटे से भरे जाने वाले सभी पदों के लिए चयन प्रक्रिया 31 जुलाई 2025 तक पूरा करने का निर्णय लिया गया है।
प्रदेश में महिला साक्षरता दर बढ़ाने के उपायों पर भी चर्चा हुई। जम्मू व कश्मीर संभाग के शिक्षा निदेशकों को बेटी अनमोल योजना के अंतर्गत ड्राफ्ट के रूप में पड़ी अप्रयुक्त राशि का विवरण तैयार करने व उसे सरकारी खजाने में जमा करने का निर्देश भी दिया गया है।
यह है जम्मू-कश्मीर के स्कूलों में रिक्त पदों की स्थिति
जम्मू-कश्मीर के विभिन्न सरकारी स्कूलों में अध्यापक, प्रधानाध्यापक, लेक्चरर और प्रधानाचार्य के 8,300 से ज्यादा पद रिक्त पड़े हुए हैं। जम्मू संभाग के 10 जिलों में अध्यापकों के कम से कम 1,665 पद रिक्त हैं। पूर्ववर्ती डोडा क्षेत्र (डोडा, किश्तवाड़ और रामबन जिले) में स्थिति विशेष रूप से चिंताजनक है।
डोडा क्षेत्र में अकेले मास्टर ग्रेड के अध्यापकों के लगभग 600 पद रिक्त हैं। जम्मू क्षेत्र के सरकारी स्कूलों में 2,218 लेक्चरर के पद और 402 प्रधानाध्यापक के पद खाली पड़े हैं। राजौरी और डोडा जिले सबसे अधिक प्रभावित हैं, जहां प्रत्येक में 300 से अधिक लेक्चरार की कमी है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।