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    Amarnath Yatra 2024: कहीं लंगर तो कहीं लोक नृत्य, भोले के भजन से घाटी शिवमय, जगह-जगह श्रद्धालुओं का स्वागत, तस्वीरों में भक्ति के रंग

    Updated: Sun, 30 Jun 2024 10:48 AM (IST)

    Amarnath Yatra 2024 अमरनाथ यात्रा शुरू होने के बाद जम्मू-कश्मीर शिवमय हो गया है। घाटी में बम-बम भोले की गूंज है। श्रद्धालुओं का जगह-जगह पर स्वागत किया जा रहा है। उनके लिए कई जगहों पर लंगर की व्यवस्था की गई है। यात्रियों की सुविधा का पूरा ध्यान रखा गया है। लोक नृत्य की व्यवस्था की गई है। अपने लोक गीत व नृत्य प्रस्तुत कर मनोरंजन करते नजर आते हैं।

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    Amarnath Yatra 2024: अमरनाथ यात्रियों के लिए जगह-जगह लंगर की व्यवस्था।

    राज्य ब्यूरो, जम्मू। बाबा बर्फानी की यात्रा शुरू होने के बाद पावन देवक नगरी भोले के रंग में रंगने लगी है। जिलेभर में अमरनाथ श्रद्धालुओं के लिए लगाए गए लंगर भक्तों से गुलजार होने लगे हैं। भक्त इन लंगरों पर विश्राम करने के साथ यहां पर विभिन्न प्रकार के व्यंजनों का स्वाद चख रहे हैं।

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    अमरनाथ यात्रा के सुगम और सुरक्षित संचालन के लिए यात्रा के लिए कटऑफ टाइम निर्धारित किए गए हैं। जिसके तहत निर्धारित समय के बाद किसी भी अमरनाथ यात्रा के वाहन को आगे जाने की अनुमति नहीं होती। जिसके चलते ऊधमपुर जिले में अमरनाथ श्रद्धालु लगाए गए लंगरों पर ठहरने लगे हैं।

    टिकरी में लगाए गए लंगर में शनिवार को 50 के करीब श्रद्धालु ठहरे हैं, जो वहां पर प्रसाद और भोजन ग्रहण करने के बाद रात को रुकेंगे।

    जिलेभर में लगे विभिन्न स्थानों पर श्रद्धालु रुके हुए हैं। लंगर लगाने वालों का कहना है कि अभी यात्रा आरंभ हुई है, अगले कुछ दिनों में लंगरों पर भीड़ और रौनक बढ़ेगी।

    वहीं, सुबह अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले भक्तों का जगह-जगह पर लोग हाथ हिलाकर बम भोले के जयघोष से स्वागत कर रहे हैं। वहीं, लंगरों पर भगवान शिव के भजन की गूंज से जिला का वातावरण शिवमय होने लगा है।

    त्रिनेत्रधारी शिवशंभु सेवा दल की ओर से गीता भवन के बाहर यात्रियों के लिए लंगर की व्यवस्था की गई है। यह लंगर पूरी यात्रा तक अपनी सेवा देगा। लंगर के अध्यक्ष मंदीप शर्मा ने बताया कि इस दौरान अमरनाथ यात्रियों को चाय, नाश्ता, भोजन, मेडिकल के अलावा अन्य सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जाएंगी।

    आज से प्रारंभ हुए लंगर का शुभारंभ श्री श्री 1008 महामंडलेश्वर अनूप गिरि महाराज ने किया। महामंडलेश्वर ने कहा कि मंदीप शर्मा और उनकी टीम हर वर्ष यहां लंगर लगाती है और अमरनाथ यात्रियों के अलावा वैष्णोदेवी के यात्री तथा अन्य भक्तों की भी सेवा करती है। यह सराहनीय प्रयास है।

    ऊधमपुर के टिकरी काली माता मंदिर में लगे लंगर पर शनिवार रात को भोजन ग्रहण करते अमरनाथ श्रद्धालु।

    वार्षिक अमरनाथ यात्रा में आस्था के साथ-साथ भारतीय लोक संस्कृति का भी नजारा देखने को मिल रहा है। देश के विभिन्न राज्यों से बाबा बर्फानी के दर्शन के लिए जम्मू पहुंचे गैर पंजीकृत श्रद्धालु इंतजार के ये दिन भजन-कीर्तन के साथ अपने लोक गायन व लोक नृत्य की प्रस्तुतियों के साथ गुजार रहे हैं।

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    रेलहेड कांप्लेक्स बाहु प्लाजा की पार्किंग इस समय देश भर से आए यात्री वाहनों से फुल है। बसों में ही ठहरे ये श्रद्धालु सुबह व शाम का समय इसी तरह व्यतीत कर रहे हैं। कुछ दिन पहले बाहु प्लाजा पार्किंग स्थल पर जहां सन्नाटा छाया रहता था, आजा आस्था व भारतीय संस्कृति का संगम बना हुआ है।

    भारी संख्या में पहुंच रहे श्रद्धालु

    बता दें कि पवित्र गुफा के दर्शन के लिए इस समय देश के विभिन्न राज्यों से सैकड़ों की संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। पंजीकरण के साथ आने वाले श्रद्धालुओं को जहां यह यात्रा पूर्ण करने में तीन दिन का समय लगता है वहीं गैर पंजीकृत श्रद्धालुओं को इसमें चार या उससे अधिक समय भी लग सकता है। बाहु प्लाजा पार्किंग स्थल में डेरा डालने वाले सभी श्रद्धालु गैर पंजीकृत हैं।

    तत्काल पंजीकरण करवाने के लिए सबसे पहले उन्हें टोकन हासिल करना है। ऐसे कई श्रद्धालु हैं, जो पिछले तीन दिन से कतारों में तो खड़े हो रहे हैं परंतु कोटा कम होने की वजह से टोकन हासिल नहीं कर पा रहे। इसके बावजूद इन श्रद्धालुओं की आस्था में कोई कमी नजर नहीं आ रही है।

    अपने के बीच हंसी-ठिठोली करते, लोक नृत्य व लोक गायन कर ये श्रद्धालु समय व्यतीत कर रहे हैं। इस तरह उन्हें एक दूसरे के राज्यों की संस्कृति को जानने का अवसर भी मिल रहा है।

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