नगर परिषद के सबसे पुराने योद्धा मदन चौधरी मैदान से हटे
रणेश राणा बद्दी नगर परिषद बद्दी की सियासत एकाएक बदल गई है। यहां की राजनीति पर 18 व
रणेश राणा, बद्दी
नगर परिषद बद्दी की सियासत एकाएक बदल गई है। यहां की राजनीति पर 18 वर्ष तक एकछत्र राज करने वाले कांग्रेस योद्धा मदन चौधरी अचानक पीछे हट गए हैं। हालांकि नगर परिषद में अध्यक्ष का पद इस बार भी ओपन है और उनके काबिज होने की संभावना थी, लेकिन उनके चचेरे भाई ने बद्दी के बाहरी लोगों की 20 हजार आबादी समाए शहरी वार्ड नंबर नौ से चुनाव में उतरने के संकेत दे दिए थे। अब एक ही परिवार से दो उम्मीदवारों का इस ओपन वार्ड से उतरना संभव नहीं था, लेकिन कुछ दूसरे वार्ड भी ओपन थे।
पूर्व कांग्रेस विधायक रामकुमार चौधरी द्वारा बनाई गई राजनीतिक सहमति व 2022 को साधने के लिए मदन चौधरी को इस बार शहरी राजनीति से विराम दिलवाया गया है। दून में कांग्रेस के आधार स्तंभ माने जाने वाले चौधरी परिवार ने आपसी रजामंदी से अपने परिवार के नए उदीयमान चेहरे व सुरजीत चौधरी को अब नगर परिषद की विरासत व सियासत सौंप दी है। हालांकि सुरजीत को अभी तक नगर परिषद के अध्यक्ष पद का दावेदार घोषित नहीं किया गया है, लेकिन अंदरखाते कांग्रेस की तरफ से यह तय ही है।
अगर नौ में पांच संख्या बल आया तो वही चेयरमैन के पद पर सुशोभित होंगे। उनके रास्ते में जो भी सियासी रोड़े व अवरोध आए उनको सुरजीत चौधरी व उनके परिवार के साथ कांग्रेस ने प्यार से समझा-बुझाकर हटाने में कामयाबी पाई है।
वहीं वार्ड नंबर नौ के निवर्तमान पार्षद सतबीर कौर के पति संजीव कुंडलस सिटी कांग्रेस अध्यक्ष इस बार ओपन वार्ड से दावेदार थे, वहीं युवा नेता बिलांवाली कुलदीप सिंह भी एक साल से प्रचार अभियान को गति दे रहे थे। दोनों को शांत कर अब सुरजीत चौधरी के पक्ष में काम करने का फरमान दिया गया है। अब चार पंचायतों के बराबर चार हजार वोट वाले इस शहरी वार्ड में आमने-सामने महामुकाबला होना तय हो गया है। मैदान से हटने वालों को बनाया प्रभारी
इस बार नगर परिषद दंगल से हटने वाले मदन चौधरी को कांग्रेस ने प्रभारी बनाया है, जबकि पूर्व पार्षद व इस वार्ड से दावेदार संजीव कुंडलस सह प्रभारी होंगे। यह दोनों नेता समस्त नौ वार्ड में पार्टी के झंडाबरदार होंगे। इनमें है टक्कर के आसार
नगर परिषद बद्दी से भाजपा ने निवर्तमान नगर परिषद अध्यक्ष नरेंद्र कुमार दीपा को मैदान में उतारा है। इस वार्ड में एक गांव बिलावंली आता है, जिसके लगभग 300 वोट हैं, जबकि 3700 वोट बाहरी लोगों के हैं, जोकि हाउसिग बोर्ड फेस एक, दो, तीन के अलावा दो निजी आवासीय कॉलोनियों ओमेक्स पार्कवुड व बसंती बाग को समाहित किए हुए हैं। दीपा भी दो साल पहले कांग्रेस से बगावत करके मदन चौधरी को हटाकर चेयरमैन बने थे और भाजपा ने उनको ही इस ओपन वार्ड से मौका दिया है। इस वार्ड में अब तीसरे यानी निर्दलीय की एंट्री की संभावना क्षीण हो चुकी है। इस वार्ड में पूर्व विधायक रामकुमार व उनके भाई प्रदेश कांग्रेस सचिव मदन लाल की प्रतिष्ठता दाव पर लगी हुई है कि कैसे वे अपने चचेरे भाई सुरजीत सिंह की वैतरणी पार लगाते हैं।
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