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    1962 से लेकर 2024 तक सिरमौर के 45 जवान देश के लिए हुए बलिदान, 6 को मिला वीरता पुरस्कार

    Updated: Wed, 17 Dec 2025 04:26 PM (IST)

    1962 से 2024 तक, सिरमौर जिले के 45 जवानों ने देश की रक्षा में अपना बलिदान दिया है। इनमें से छह जवानों को वीरता पुरस्कार मिले हैं, जिनमें सेना मेडल, की ...और पढ़ें

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    1962 से लेकर 2024 तक सिरमौर जिला के 45 जवान हुए बलिदान।

    राजन पुंडीर, नाहन। देश की रक्षा के साथ-साथ देश के लिए बलिदान देने में भी जिला सिरमौर के जवानों ने अहम भूमिका निभाई है। 1962 के भारत चीन युद्ध से लेकर वर्ष 2025 तक जिला सिरमौर के 45 जवानों ने अपना बलिदान देश की रक्षा के लिए दिया है। इन 45 शहीदों में से 6 जवानों को वीरता पुरस्कार भी मिले हैं। जिसमें दो सेना मेडल, एक कीर्ति चक्र व तीन शौर्य चक्र चक्र शामिल हैं।

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    इसके साथ ही जिला सिरमौर के जवानों ने भारतीय सेना की विभिन्न रेजीमेंट में रहकर ऑपरेशन रक्षक, ऑपरेशन अल्फा, ऑपरेशन विजय, ऑपरेशन मेघदूत, ऑपरेशन हिफाजत एक तथा ऑपरेशन नॉर्दर्न बॉर्डर में योगदान दिया था। जिला सिरमौर से पहले शहीद 1962 में भारत चीन युद्ध के दौरान सुरजा राम थे। 1962 के युद्ध में मंसाराम, 1965 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में अमर सिंह, पृथ्वी सिंह, प्रीतम सिंह, हुकमी राम, बाबूराम और भूप सिंह शहीद हुए थे।

    1971 के युद्ध में रामचंद्र शहीद हुए, जिन्हें की जिला सिरमौर के शहीद जवानों में पहला सेना मेडल प्राप्त था। 1971 के युद्ध में गोवर्धन थापा ने भी अपनी शहादत दी थी। वही 1991 के ऑपरेशन रक्षक में रविंद्र सिंह व कमलेश कुमार, 1993 के ऑपरेशन रक्षक में मदन सरूप, 1995 के ऑपरेशन रक्षक में नरेश कुमार, 1996 के ऑपरेशन उल्फा में जंगवीर सिंह ने अपनी शहादत दी। 1997 के ऑपरेशन रक्षक में सुखपाल सिंह ने देश के लिए अपने अपने प्राण निछावर किया।

    1999 के ऑपरेशन विजय में कुलविंदर सिंह और कल्याण सिंह, वर्ष 2000 के ऑपरेशन रक्षक में ललित कुमार ने देश के लिए अपना बलिदान दिया। वर्ष 2001 के ऑपरेशन रक्षक में भीम बहादुर, 2001 के ऑपरेशन मेघदूत में कुलदीप चंद, 2002 के ऑपरेशन रक्षक में हितेश कुमार व कमलकांत, 2003 के ऑपरेशन रक्षक में शेर सिंह, 2004 के ऑपरेशन रक्षक में नरेंद्र पाल, 2006 के ऑपरेशन रक्षक में वीरेंद्र सिंह व राजेंद्र सिंह, 2007 के ऑपरेशन रक्षक में राजेंद्र सिंह, 2010 के ऑपरेशन रक्षक में अरविंद कुमार व राजेश ठाकुर ने अपनी शहादत दी।

    2012 के ऑपरेशन रक्षक में राजेश कुमार, 2013 के ऑपरेशन रक्षक में श्याम सिंह, 2015 के ऑपरेशन हिफाजत एक में अशोक कुमार व सोहन सिंह, 2018 के ऑपरेशन रक्षक में अजय कुमार, नॉर्दर्न बॉर्डर ऑपरेशन 2019 में विनोद कुमार व भरत सिंह, 2020 के ऑपरेशन रक्षक में प्रशांत सिंह, 2020 के नॉर्दर्न बॉर्डर ऑपरेशन में अंचित शर्मा ने बलिदान दिया।

    वहीं, 2020 में जम्मू कश्मीर में वाहन दुर्घटना में शहीद हुए सुरेश कुमार, 2023 के ऑपरेशन रक्षक में प्रमोद नेगी, 2024 के ऑपरेशन रक्षक में प्रवीण शर्मा तथा 2024 के ऑपरेशन स्नो लेपर्ड में आशीष कुमार ने देश के लिए अपने प्राण निछावर किया। उधर जिला सैनिक कल्याण बोर्ड के उपनिदेशक मेजर दीपक धवन ने बताया कि 1962 से लेकर 2024 तक जिला सिरमौर के 45 जवानों ने विभिन्न ऑपरेशन में देश की रक्षा करते हुए वीरगति को प्राप्त हुए हैं।