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    हिमाचल में बारिश का कहर, 24 घंटे में 150 करोड़ से अधिक का नुकसान; दो NH सहित 472 सड़कें बंद

    Updated: Thu, 14 Aug 2025 11:52 PM (IST)

    हिमाचल प्रदेश में बीते 24 घंटों में भारी बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है और लगभग 150 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ है। ऊना मंडी शिमला और चंबा जिलों में भारी नुकसान हुआ है। कई स्थानों पर सड़कें बंद हैं और बिजली आपूर्ति बाधित है जिससे लोगों को भारी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।

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    हिमाचल में चौबीस घंटे में भारी वर्षा से 150 करोड़ से अधिक का नुकसान हुआ है। फाइल फोटो

    राज्य ब्यूरो, शिमला। प्रदेश में बीते चौबीस घंटों के दौरान हुई भारी वर्षा के कारण जनजीवन प्रभावित है और 150 करोड़ से अधिक के नुकसान का अनुमान है। प्रदेश में कई स्थानों पर लोगों के घरों में पानी भर गया। जबकि कई स्थानों पर अचानक बाढ़ आने के कारण घरों को नुकसान का खतरा बढ़ गया है।

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    ऊना, मंडी, शिमला और चंबा में काफी नुकसान हुआ है। ऊना जिला में भारी वर्षा से कई स्थानों पर जलभराव हुआ और कई स्थानों में घरों, दुकानों, कार्यालयों और स्कूलों में पानी भरा गया। इसके कारण ऊना शहर की फ्रेंड्स कालोनी में जलभराव से गुस्साए लोगों ने कांगड़ा-चंडीगढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग को जाम किया।

    प्रदेश में भारी वर्षा व भूस्खलन के कारण कुल्लू में एनएच 305, लाहुल स्पीति में एनएच 505 बंद है। इसके अलावा बंद सडकों में मंडी में 162, कुल्लू में 73, शिमला में 99, सिरमौर में 66, कांगड़ा में 26 सड़कें बंद हैं। प्रदेश में 721 ट्रांसफार्मर खराब हैं। जिसके कारण बिजली आपूर्ति बंद है। कई गांव अंधेरे में है। सिरमौर में 187, ऊना में 162, लाहुल स्पीति में 150, सोलन में 114, शिमला में 67, कुल्लू में 30 ट्रांसफार्मर खराब हैं।

    नुकसान पहुंचा 2104 करोड़

    प्रदेश में 20 जून से लेकर अभी तक 2104 करोड़ के नुकसान का अनुमान है। अभी तक 130 लोगों की बादल फटने, भूस्खलन व अन्य कारणों से मौत हो चुकी है। प्रदेश में बादल फटने की अभी 34, अचानक बाढ़ की 71 और भूस्खलन 60 घटनाएं हुई हैं। प्रदेश में 545 मकान पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुके हैं और 1763 मकानों 359 दुकानों और 2113 गौशालाओं को नुकसान हुआ है।