हिमाचल में अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन में राशि की बढ़ोतरी पर विरोध, 24 अप्रैल को सचिवालय के घेराव का अल्टीमेटम
देवभूमि क्षत्रिय संगठन स्वर्ण मोर्चा ने अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन राशि में वृद्धि और स्वर्ण आयोग के गठन में देरी के खिलाफ शिमला में अनशन शुरू कर दिया है। संगठन का कहना है कि सरकार उनकी मांगों को नहीं मानती है तो 24 अप्रैल को सचिवालय का घेराव किया जाएगा। उनका आरोप है कि सरकार जाति के आधार पर लोगों को बांट रही है जिसे स्वीकार नहीं किया जाएगा।

जागरण संवाददाता, शिमला। देवभूमि क्षत्रिय संगठन, सवर्ण मोर्चा स्वर्ण आयोग के गठन व प्रदेश सरकार द्वारा अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन राशि में बढ़ोतरी के फैसले के खिलाफ वीरवार से सीटीओ चौक नजदीक डीसी ऑफिस शिमला में अनशन पर बैठ गया है।
संगठन का कहना है कि दोनों मांगों को लेकर सरकार फैसला नहीं लेती है तो 24 अप्रैल को प्रदेश सचिवालय का घेराव किया जाएगा।
देवभूमि क्षत्रिय संगठन स्वर्ण मोर्चा के अध्यक्ष और अमित सिंह ठाकुर ने कहा कि आर्थिक स्थिति खराब होने की बात करने वाली सरकार ने अंतरजातीय विवाह की प्रोत्साहन राशि को बढ़ाकर ढाई लाख कर दिया। बेटी किसी भी जाति की हो परिवार का स्वाभिमान होती है। इस तरह लड़कियों की बोली लगाना ठीक नहीं है।
24 अप्रैल को सचिवालय का होगा घेराव
रूमित ठाकुर ने कहा कि स्वर्ण आयोग को लेकर भाजपा सरकार ने भी धोखा किया है। सरकार उनकी मांगों को मानती है तो मुख्यमंत्री पर फूलों की बारिश करने से पीछे नहीं हटेंगे लेकिन ऐसा नहीं होता है तो वे पीछे नहीं हटेंगे। आज से क्रमिक अनशन पर बैठे हैं। 24 अप्रैल को सचिवालय का घेराव किया जाएगा।
सचिवालय के बाहर तब तक डटे रहेंगे जब तक मुख्यमंत्री मांगो को मान नहीं लेते हैं। उन्होंने कहा कि इस तरह के जातीय आधार पर लोगों को बांटने के फैसलों को स्वीकार नहीं किया जाएगा।
सवर्ण समाज के साथ हमेशा से इस तरह का काम सरकारें करती रही है, इसे अब स्वीकार नहीं किया जाए। इसके खिलाफ जो जंग वीरवार से शुरू की है, इसे अंजाम तक पहुंचाने के बाद ही दम लिया जाएगा। इस दौरान उनके साथ संगठन के अन्य पदाधिकारी व सदस्य भी मौजूद रहे।
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