सोशल मीडिया पर भारी बारिश के अलर्ट की अफवाहों ने 80% बुकिंग रद की, टूरिज्म को हुआ बड़ा नुकसान
प्राकृतिक आपदाओं के बीच हिमाचल प्रदेश के पर्यटन उद्योग को अफवाहों के कारण नुकसान हो रहा है। शिमला कुल्लू-मनाली जैसे पर्यटन स्थल खुले हैं फिर भी पर्यटकों की संख्या में कमी आई है। पर्यटन विकास निगम और निजी होटल मालिकों को भारी घाटा हो रहा है क्योंकि बुकिंग रद्द हो रही हैं। सरकार पर्यटन को बढ़ावा देने का प्रयास कर रही है।

राज्य ब्यूरो, शिमला। प्राकृतिक आपदा का सामना कर रहे प्रदेश को पर्यटन कारोबार में नुकसान उठाना पड़ा है। राज्य मुख्यालय शिमला, कुल्लू-मनाली, धर्मशाला, डलहौजी सहित अधिकांश पर्यटन स्थल पूरी तरह से खुले हैं। इसके बावजूद इंटरनेट मीडिया पर फैलाई जा रही अफवाहों के कारण पर्यटन क्षेत्र को धक्का लगा है।
सार्वजनिक उपक्रम पर्यटन विकास निगम द्वारा संचालित किए जाने वाले होटलों के साथ-साथ निजी क्षेत्र में होटलियर्स को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है। पर्यटन विकास निगम के होटलों में आक्यूपेंसी घटकर 20-21 प्रतिशत पहुंच गई है। जबकि निजी क्षेत्र भी पर्यटकों के आने का इंतजार ही कर रहा है। जुलाई माह में पिछले साल पर्यटकों की आमद कुछ अच्छी थी और पर्यटकों का प्रतिशत 30 के करीब था।
इस संबंध में राज्य पर्यटन विकास निगम के प्रबंध निदेशक राजीव कुमार का कहना है कि जुलाई माह के पहले सप्ताह में पर्यटकों की संख्या में कमी आई है। जोकि पिछले वर्ष की तुलना में करीब 10 प्रतिशत कम है।
उन्होंने कहा कि पर्यटकों के लिए मानसून छूट दिए जाने पर भी पर्यटक आने को तैयार नहीं है। निगम प्रबंधन की ओर से छूट 20 से 40 प्रतिशत तक दिए जाने का आफर है। ऐसा देखने में आया है कि जून के अंतिम और जुलाई महीने के पहले सप्ताह में प्राकृतिक के कारण 80 फीसदी एडवांस बुकिंग रद हुई।
गत वर्ष दिसंबर, 2024 तक प्रदेश की सैरगाहों में कुल 1.80 करोड़ घरेलू व विदेशी पर्यटक पहुंचे। प्रदेश सरकार ने पर्यटकों की संख्या को पांच करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा है। वर्ष 2027 में रिकार्ड 1.91 करोड़ घरेलू पर्यटक आए थे।
जनजातीय क्षेत्र भी खाली
इन दिनों जनजातीय क्षेत्रों में पर्यटकों की आमद अधिक रहती थी। लेकिन देखने में आया है कि इन क्षेत्रों में भी पर्यटक कम संख्या में पहुंच रहे हैं। लाहुल-स्पीति किन्नौर जिलों के अलावा चंबा जिला के पांगी-भरमौर में सीमित समय का पर्यटन सीजन रहता है।
शिमला होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन के उपाध्यक्ष प्रिंस कुकरेजा ने कहा कि शिमला पूरी तरह सुरक्षित है। पिछले दस दिनों के दौरान राजधानी में सामान्य वर्षा हुई। चंडीगढ़ से शिमला आने वाला फोरलेन पूरी तरह से खुला है। लेकिन इंटरनेट मीडिया पर गैर जिम्मेदाराना तरीके से वर्षा का अलर्ट दिखाए जाने के कारण पर्यटकों को भ्रमित किया जा रहा है। अलर्ट की अफवाहों ने पर्यटन को भारी नुकसान पहुंचाया है।
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