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    Himachal Landslide: शिमला में टनल पर गिरा पहाड़ी का हिस्सा, एक झटके में ढह गई वर्षों की मेहनत; देखें Video

    Updated: Tue, 13 Aug 2024 04:07 PM (IST)

    हिमाचल में बारिश से बाढ़ और भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। इसी क्रम में मंगलवार को ढली कैथलीघाट फोरलेन पर संजौली के समीप चलौंठी में भूस्खलन हुआ। जिसमें पहाड़ी का एक हिस्सा टनल पर गिर गया। भूस्खलन के कारण एचएचएआई की मेहनत पर पानी फिर गया है। इस घटना का एक वीडियो भी तेजी से वायरल हो रहा है।

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    संजौली के समीप चलौंठी में हुआ भूस्खलन (जागरण फोटो)

    जागरण संवाददाता, शिमला। भारी बारिश के बीच शिमला में फिर से भूस्खलन का दौर शुरू हो गया है। मंगलवार को ढली कैथलीघाट फोरलेन पर संजौली के समीप चलौंठी में भूस्खलन की घटना पेश आई है।

    चलौंठी में निर्माणाधीन टनल के मुहाने पर धीरे धीरे पत्थर व मिट्टी गिरनी शुरू हुई। देखते ही देखते टनल के मुहाने पर पूरी पहाडी़ गिर गई। हालांकि इस घटना में जान माल का कोई नहीं नुकसान नहीं हुआ हैं, लेकिन भूस्खलन के कारण एचएचएआई की मेहनत पर पानी फिर गया है। बताया जा रहा है कि एनएचएआई ने पहाड़ी को स्टेबलाइज करने का काम शुरू कर दिया था।

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    दोबारा से टनल की खुदाई का काम करना पड़ेगा

    वहीं टनल के अंदर 400 मीटर तक खुदाई भी की जा चुकी थी। ऐसे में एनएचएआई को दोबारा से टनल की खुदाई का काम शुरू करना पड़ेगा। वहीं अगर पहाड़ी का दरकना बंद नहीं होता हैं, तो फिर एनएचएआई को ज्यादा दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है।

    ढली कैथलीघाट फोरलेन का काम जोरों पर चल रहा है। फोरलेन पर कई जगहों पर टनलों का निर्माण किया जा रहा है। शोघी के समीप शुंगला में एक टनल के दोनों छोर भी मिल चुके हैं। ऐसे में अन्य जगहों पर टनलों की खुदाई का काम जारी है।

    संजौली के चलौंटी में जहां पर टनल का एक छोर शुरू होता हैं। उसके साथ ही शिमला, ठियोग और रामपुर राजमार्ग भी आता है। भूस्खलन से ढली जंक्शन के पास एनएच को भी खतरा हो गया है। लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि मौके से लगातार पत्थर गिर रहे हैं। ऐसे में जब तक पत्थरों का गिरना नहीं रूकता है या फिर बारिश का मौसम समाप्त नहीं होता हैं तब तक दोबारा निर्माण कार्य शुरू नहीं किया जा सकता है।

    राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के क्षेत्रीय अधिकारी अब्दुल बासित ने कहा...

    ये फॉल्स पोर्टल बनाया था। इसके तहत जब भी सुरंग की खोदाई शुरू की जाती है तो इसे बनाया जाता है। इससे सुरंग के ऊपर का जो भी कच्चा स्थान होता है, वे पूरी तरह से झड़ने लगता है। इसे झाड़ने के लिए इसे ठेकेदार ने गिराया है।

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