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    Himachal Political Crisis: 'एक बात बताओ आप हाई कोर्ट क्यों नहीं गए...', कांग्रेस के बागी विधायकों को SC की दो टूक

    हिमाचल प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने 29 फरवरी को छह विधायकों को पार्टी व्हिप की अवहेलना करने के लिए कांग्रेस की याचिका पर छह विधायकों को अयोग्य घोषित कर दिया था। विधायकों को सदन में उपस्थित रहने और बजट के लिए मतदान करना था। स्पीकर के फैसले को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर शीर्ष अदालत सुनवाई कर रही है।

    By Jagran News Edited By: Monu Kumar Jha Updated: Tue, 12 Mar 2024 01:29 PM (IST)
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    Himachal News: छह अयोग्य विधायकों की याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई

    एएनआई, शिमला। सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल प्रदेश में हाल के राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग करने वाले छह बागी कांग्रेस विधायकों को लेकर मंगलवार को सुनवाई की। शीर्ष अदालत ने विधायकों से पूछा कि उन्होंने अपनी अयोग्यता को चुनौती देने के लिए हाई कोर्ट का दरवाजा क्यों नहीं खटखटाया।

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    छह विधायक हुए थे अयोग्य घोषित

    हिमाचल प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने 29 फरवरी को छह विधायकों को पार्टी व्हिप की "अवहेलना" करने के लिए कांग्रेस की याचिका पर छह विधायकों को अयोग्य घोषित कर दिया था। विधायकों को सदन में उपस्थित रहने और बजट के लिए मतदान करना था।

    पीठ में ये जज शामिल

    स्पीकर के फैसले को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर शीर्ष अदालत के जस्टिस संजीव खन्ना, दीपांकर दत्ता और प्रशांत कुमार मिश्रा की पीठ सुनवाई कर रही है। छह याचिकाकर्ताओं का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील ने पीठ से मामले को 15 मार्च या 18 मार्च के लिए स्थगित करने का अनुरोध किया और कहा कि वरिष्ठ वकील हरीश साल्वे, जो उनकी ओर से पेश होंगे, कार्यवाही में शामिल होने में सक्षम नहीं है।

    18 मार्च को होगी अगली सुनवाई

    जस्टिस खन्ना ने पूछा कि एक बात बताओं तुम हाई कोर्ट क्यों नहीं गए। इस पर वकील ने कहा कि याचिकाकर्ताओं ने याचिका में कारण बताए हैं और वे विधायक चुने गए हैं, तो पीठ ने कहा कि यह मौलिक अधिकार नहीं है। वकील ने कहा कि यह दुर्लभ मामला है जहां 18 घंटे के भीतर स्पीकर ने हमें अयोग्य घोषित कर दिया। पीठ ने मामले की सुनवाई 18 मार्च तक के लिए स्थगित कर दी है।