हिमाचल आपदा पीड़ितों को मिलेगा राहत, फिर से घर बनाने के लिए मिलेगा 7 लाख रुपये तक मुआवजा
हिमाचल प्रदेश में आपदा से प्रभावित लोगों को सुक्खू सरकार मुआवजा देगी। मकान बनाने के लिए एक से सात लाख रुपये मिलेंगे लेकिन सरकारी भूमि पर बने मकानों को मुआवजा नहीं मिलेगा। नुकसान का आकलन करने के लिए तीन सदस्यीय कमेटी बनाई गई है। ऑनलाइन रिपोर्ट और सत्यापन के बाद मुआवजा दिया जाएगा। राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने कहा कि सही आकलन के बाद ही मुआवजा मिलेगा।

राज्य ब्यूरो, शिमला। हिमाचल प्रदेश में इस बरसात के दौरान आई आपदा की चपेट में आने वालों को राहत देने के लिए सुक्खू सरकार मरहम लगा रही है। जिसके लिए एक से सात लाख रुपये मकान बनाने को दिए जाएंगे। जिन लोगों ने सरकारी भूमि पर कब्जे कर मकान बनाए और भारी बरसात में आई आपदा में ढह गए उन्हें मुआवजा राशि नहीं मिलेगी।
यही नहीं पक्का मकान ढहा, कच्चा या ढारा ढहा मकान को नुकसान हुआ इसकी जांच तीन सदस्यीय कमेटी करेगी। इसमें तहसीलदार, कनिष्ठ अभियंता और पटवारी को जिम्मा सौंपा है। जबकि इसके अलावा भी जंच की जाएगी। बरसात के दौरान आई आपदा के कारण मकान की आन लाइन रिपोर्ट और मौके से सत्यापन के बाद तहसीलदार अनुमोदित करेंगे और एसडीएम राशि प्रदान करेंगे।
इसी प्रकार अन्य नुकसान को लेकर भी जांच होगी और उसके बाद मौके पर सत्यापन करने के बाद ही मुआवजा राशि को जारी किया जाएगा। जिससे पात्र लोगों को राहत राशि मिल सके। इसके लिए यह नहीं होगा कि जो डाटा फील्ड से आया है, उसे 100 प्रतिशत सही माना जाए। बयान राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने कहा नुकसान का सही आकलन और सत्यापन के बाद ही मुआवजा राशि प्रदान की जाएगी।
उन्होंने बताया कि सरकारी जमीन पर बने मकान के ढहने पर कोई मुआवजा नहीं मिलेगा। इसकी भी जांच की जाएगी। मकान क्षतिग्रस्त होता है, उसे केंद्र के रिलीफ मैनुअल में अभी भी 1,30,000 रुपये दिया जाता है। हिमाचल सरकार इसमें सात लाख रुपये देगी।
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