हिमाचल में पेंशन धोखाधड़ी मामले में ईडी की कार्रवाई, पूर्व जिला कोषाधिकारी की 1.84 करोड़ की संपत्ति की कुर्क
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) शिमला ने नाहन के पूर्व जिला कोषागार अधिकारी सतीश कुमार की 1.84 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की। यह कार्रवाई धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत की गई। सतीश कुमार पर भ्रष्टाचार और अवैध धन को वैध बनाने का आरोप है, जिसके तहत पुलिस ने एफआईआर दर्ज की थी। जांच में पाया गया कि उन्होंने इस धन से मोहाली में संपत्ति खरीदी थी।
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नाहन के पूर्व डीटीओ सतीश कुमार की 1.84 करोड़ की संपत्ति ईडी ने की कुर्क।
राज्य ब्यूरो, शिमला। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), शिमला ने धन शोधन निवारण अधिनियम 2002 के तहत बड़ी कार्रवाई करते हुए नाहन के पूर्व जिला कोषागार अधिकारी (डीटीओ) सतीश कुमार की 1.84 करोड़ रुपये मूल्य की अचल संपत्ति को अस्थायी रूप से कुर्क कर लिया है।
यह संपत्ति लगभग 200 वर्ग गज क्षेत्रफल के आवासीय भूखंड सहित निर्मित है। जो सनी एन्क्लेव, खरड़, जिला एसएएस नगर (मोहाली), पंजाब में स्थित है। ईडी की यह कार्रवाई उस पुलिस एफआईआर के आधार पर आगे बढ़ाई गई, जिसे पुलिस स्टेशन नाहन ने दर्ज किया था।
एफआईआर में सतीश कुमार पर भारतीय दंड संहिता (आइपीसी) और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम, 1988 की विभिन्न धाराओं के तहत गंभीर आरोप लगाए गए थे। मामले में 31 मई 2023 को आरोप पत्र दाखिल किया गया था और अदालत ने सतीश कुमार को दोषी भी करार दिया है।
लांच में यह भी सामने आया कि सतीश कुमार ने इस अवैध धन का इस्तेमाल मोहाली के सनी एन्क्लेव में आवासीय भूखंड खरीदने और उस पर निर्माण करने में किया, ताकि फर्जी तरीके से एकत्रित किए गए धन को वैध स्रोत से अर्जित दिखाया जा सके। संपत्ति का वर्तमान बाजार मूल्य 1,84,91,651 रुपये है, जिसे ईडी ने कुर्क कर लिया है।

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