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    दलाई लामा आज कर सकते हैं पुनर्जन्म पर घोषणा, महिला या पुरुष कौन होगा उत्तराधिकारी?

    धर्मगुरु दलाई लामा बुधवार को पुनर्जन्म को लेकर घोषणा कर सकते हैं। धर्मशाला में तिब्बती बौद्ध परंपराओं के वरिष्ठ धर्मगुरुओं के साथ गहन विचार-विमर्श होगा। यह संभावित घोषणा तिब्बती समुदाय और भारत के उत्तरी क्षेत्रों में रहने वाले लाखों अनुयायियों के लिए महत्वपूर्ण है। चीन पहले ही इस विषय पर विरोध जता चुका है। दलाई लामा स्पष्ट कर चुके हैं कि उनका अगला पुनर्जन्म किसी स्वतंत्र समाज में होगा।

    By Digital Desk Edited By: Nitish Kumar Kushwaha Updated: Wed, 02 Jul 2025 09:43 AM (IST)
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    धर्मगुरु दलाई लामा आज पुनर्जन्म को लेकर घोषणा कर सकते हैं। फाइल फोटो

    जागरण संवाददाता, धर्मशाला। धर्मगुरु दलाई लामा बुधवार को पुनर्जन्म को लेकर घोषणा कर सकते हैं। दो से चार जुलाई के बीच धर्मशाला स्थित निर्वासित तिब्बती सरकार के मुख्यालय में तिब्बत की चार प्रमुख बौद्ध परंपराओं साक्य, काग्यू, निंग्मा और गेलुग के वरिष्ठ धर्मगुरुओं के साथ दलाई लामा गहन विचार-विमर्श करेंगे।

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    उनकी यह संभावित घोषणा न केवल तिब्बती समुदाय बल्कि लद्दाख, हिमाचल, उत्तराखंड और अरुणाचल में रहने वाले लाखों अनुयायियों के लिए महत्वपूर्ण मानी जा रही है। दलाई लामा इन इलाकों में न केवल आध्यात्मिक गुरु, बल्कि सामाजिक और नैतिक मार्गदर्शक भी हैं।

    हालांकि, इस विषय पर चीन पहले ही विरोध जता चुका है और भविष्य में दलाई लामा के उत्तराधिकारी की नियुक्ति को नियंत्रित करने की कोशिश में जुटा है। दलाई लामा स्पष्ट कर चुके हैं कि उनका अगला पुनर्जन्म किसी स्वतंत्र समाज में होगा और यह पुरुष भी हो सकता है और महिला भी।

    वर्ष 2011 में दलाई लामा ने राजनीतिक भूमिका से स्वयं को अलग कर लोकतांत्रिक रूप से चुनी सरकार को जिम्मेदारी सौंपी थी। उन्होंने कहा था कि जब वह 90 वर्ष के हो जाएंगे तो ही पुनर्जन्म को लेकर घोषणा करेंगे। छह जुलाई को दलाई लामा 90 वर्ष के होंगे।

    ऐसे में बुधवार को उनके पुनर्जन्म की घोषणा को लेकर तिब्बती समुदाय के लोगों में इंतजार है। दो जुलाई को होने वाली संभावित घोषणा को लेकर अंतरराष्ट्रीय बौद्ध समुदाय और वैश्विक स्तर की निगाहें धर्मशाला पर टिकी हैं। दलाई लामा धर्मशाला में निर्वासन में रहकर विश्वभर में शांति, करुणा और अहिंसा का संदेश दे रहे हैं।