चंबा: मणिमहेश यात्रा हादसे के बाद प्रशासन का त्वरित एक्शन, 90 शिवभक्त एयरलिफ्ट; शव पठानकोट पहुंचाए
चंबा में मौसम साफ होते ही प्रशासन ने मणिमहेश यात्रा में मारे गए चार श्रद्धालुओं के शव पठानकोट पहुंचाए। कुगती में फंसे शवों को निकालने के लिए टीम प्रयासरत है। भरमौर में फंसे 90 शिवभक्तों को एयरलिफ्ट किया गया जिनमें वरिष्ठ नागरिकों को प्राथमिकता दी गई। डल झील से हड़सर तक मार्ग खाली कराया गया। पैदल पहुंचे 112 श्रद्धालुओं को बसों से पठानकोट भेजा गया।

जागरण संवाददाता,चंबा। में बुधवार को दोपहर बाद मौसम साफ हाते ही लोगों ने व जिला प्रशासन ने राहत की सांस ली है।
जेसे ही मौसम साफ हुआ प्रशासन ने पठानकोट में संपर्क कर तुरत एमआई-17 हैलीकाॅप्टर मंगवाकर मणिमहेश यात्रा के दौरान मारे गए लोगों के शवों को परिजनों तक पहुंचाने की कवायद शुरू हो गई है।
बुधवार को 4 शवों को भरमौर से निकाला गया। ये शव सेना के एमआई-17 हैलीकाॅप्टर के माध्यम से पठानकोट पहुंचाए गए।
इसके बाद परिजनों को सौंप दिए हैं। इसमें 2 शव पठानकोट के श्रद्धालुओं के हैं। इसके अलावा एक गुरदासपुर व एक शव होशियारपुर के श्रद्धालु का है।
मणिमहेश यात्रा के दौरान इन श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी। इसके बाद रास्ते बंद होने के कारण शव भरमौर में ही पड़े हुए थे। अब भी 4 श्रद्धालुओं के शव कुगती में पड़े हुए हैं।
इन शवों को लाने के लिए 30 सदस्यों की एक टीम मौके पर पहुंच गई है। वीरवार तक ये सभी शव भरमौर पहुंच जाएंगे। इसके बाद इन शवों को भी सेना के हैलीकाॅप्टर के माध्यम से परिजनों तक पहुंचाया जाएगा।
मणिमहेश यात्रा के दौरान कुल 16 लोगों की मौत हुई है। इनमें से अधिकतर श्रद्धालुओं के शव सड़क मार्ग से पहले ही उनके परिजनों तक पहुंचा दिए गए थे, लेकिन खराब मौसम के चलते कुछ शव भरमौर व कुगति में पड़े हुए थे।
अब मौसम साफ होते ही इन शवों को लाने की प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है। इससे परिजनों ने राहत की सांस ली है। हालांकि कुगति से लाए जा रहे शवों को परिजनों तक पहुंचाना अब भी चुनौतीपूर्ण है। अगर दोबारा मौसम खराब हो जाता है तो अड़चनें आ सकती हैं।
श्री मणिमहेश यात्रा के दौरान उपमंडलीय मुख्यालय भरमौर में फंसे लोगों को एयरलिफ्ट करने की प्रक्रिया आरंभ कर दी गई है।
आज भरमौर से चम्बा के 16 उड़ानों के माध्यम से करीब 90 शिव भक्तों को भरमौर से चंबा पहुंचाया गया है। देश के विभिन्न कोनों के रहने वाले यह सभी शिव भक्त बुधवार को चंबा में रात्रि विश्राम करेंगे और कल अपने- अपने घर की ओर रवाना होंगे।
भरमौर से शिव भक्तों को चंबा के लिए एयरलिफ्ट किया जा रहा है। इसमें वरिष्ठ नागरिकों और मरीजों को प्राथमिकता दी जा रही है।
डीसी ने कहा कि डल झील से लेकर हड़सर तक मार्ग को पूर्ण रूप से खाली करवा लिया गया है। अब उस मार्ग पर केवल एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के जवान ही बचे हैं।
वही बुधवार को भरमौर से चंबा पैदल पहुचे 112 श्रद्धालुओं को जांघी से पठनकोट तकहिमाचल पथ परिवहन निगम की बसों के माध्यम से भेजा गया है।
चंबा के उपायुक्त मुकेश रेप्सवाल ने कहा कि मौसम साफ होते ही भरमौर से श्रद्धालुओं के शव निकालने की प्रक्रिया तेज कर दी गई है।
चार शव एमआई-17 हेलीकॉप्टर से पठानकोट पहुंचाए गए हैं, जबकि कुगती में पड़े शवों को लाने के लिए टीम काम कर रही है। डल झील से हड़सर तक का मार्ग खाली करवा दिया गया है और श्रद्धालुओं को एयरलिफ्ट कर सुरक्षित चंबा लाया जा रहा है।
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