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    यमुनानगर तिहरा हत्याकांड मामले में नया खुलासा, तीन दिन पहले सन्नी सलेमपुर के घर पर रुके थे शूटर

    यमुनानगर में 26 दिसंबर 2024 को हुए तिहरे हत्याकांड में पुलिस ने शूटरों के मददगारों को गिरफ्तार किया है। शूटर अभी भी फरार हैं। इस वारदात की साजिश विदेश में बैठे गैंगस्टर नोनी राणा सन्नी सलेमपुर और अनिल उर्फ मोनू ने रची थी। सन्नी के पिता परमजीत को भी गिरफ्तार किया गया है।

    By Avneesh kumar Edited By: Prince Sharma Updated: Wed, 27 Aug 2025 04:33 AM (IST)
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    तिहरा हत्याकांड : वारदात से तीन दिन पहले सन्नी सलेमपुर के घर पर रूके थे शूटर

    अवनीश कुमार, यमुनानगर। 26 दिसंबर 2024 को खेड़ी लक्खा सिंह पुलिस चौकी के पास हुए तिहरे हत्याकांड में भले ही शूटर फरार हो लेकिन उनके मददगारों को पुलिस ने गिरफ्तार किया।

    इस पूरी वारदात को विदेश में बैठे गैंगस्टर नोनी राणा, सन्नी सलेमपुर व अनिल उर्फ मोनू ने योजना बनाकर अंजाम दिलवाया। सन्नी सलेमपुर के पिता परमजीत को भी इस केस में शूटरों की मदद करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया। वारदात से तीन दिन पहले शूटर रोमिल वोहरा शुभम पंडित, हेमंत गिरी, राहुल फौजी सलेमपुर बांगर में परमजीत के पास रूके थे।

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    जेल में काला राणा से हुई सन्नी की दोस्ती

    चालान के अनुसार, सलेमपुर बांगर निवासी परमजीत का सन्नी उर्फ बलजिंद्र सिंह इकलौता बेटा है। उसने लव मैरिज की हुई है। वर्ष 2011-12 में वह एमएलएन कॉलेज में पढ़ता था।

    वहीं पर उसकी दोस्ती आवारा किस्म के लड़काें से हुई। वह झगड़ा करने लगे। कई केस भी उस पर दर्ज हुए। जिनमें वह जेल में गया। जेल में उसकी मुलाकात काला राणा से हुई और वह उनके गैंग में शामिल हो गया। वह इस गैंग के लिए रंगदारी वसूलने लगा।

    इस बीच सन्नी ने अपने पिता परमजीत को बताया कि यदि वह भारत में रहा तो उसे पुलिस फिर गिरफ्तार कर लेगी और जेल से बाहर नहीं आ सकेगा। परमजीत ने अपनी पुत्रवधू को इंग्लैंड भेजा।

    मई 2023 में सन्नी जेल से बाहर आया था। उसके बाहर आने पर पत्नी इंग्लैंड से वापस आई और 19 अगस्त 2023 को अपने साथ इंग्लैंड लेकर चली गई थी। वहां से नवंबर 2023 में डंकी रूट के जरिए दोनों अमेरिका चले गए। परमजीत की उनके साथ बातचीत होनी रहती थी।

    सात एकड़ जमीन भी बेची 

    चालान के अनुसार, परमजीत के पास सात एकड़ जमीन थी। जिसे उसने बेच दिया। अब उसके पास आय का कोई साधन नहीं था। उसके पास सन्नी ही रुपये भिजवाता था। 23 दिसंबर 2024 को सन्नी के कहने पर ही उसने रोमिल, शुभम पंडित, हेमंत गिरी, राहुल फौजी को मकान पर रूकवाया था। जहां से वह सुबह जल्दी उठकर चले गए थे।

    26 दिसंबर को शूटरों ने वारदात को अंजाम दिया था। 15 अप्रैल 2025 को परमजीत को एसटीएफ करनाल की टीम ने गिरफ्तार किया। गिरफ्तारी से तीन माह पहले उसके पास काला राणा के गुर्गे तन्नू व मन्नू आए थे जो उसे दो लाख रुपये नकद देकर गए थे। यह रुपये सन्नी के कहने पर दिए थे।

    तिहरे हत्याकांड की तफ्तीश कर रही एसटीएफ की जांच में सामने आया कि वारदात को अंजाम देने में शूटरों की परमजीत ने मदद की। उसे अपने बेटे सन्नी के गैंगस्टरोंों के साथ संपर्क का पता था। यह भी पता था कि गैंग बड़ी वारदात करने की तैयारी कर रहा है। सन्नी सलेमपुर के कहने पर उसके पिता के पास रंगदारी की रकम से हिस्सा पहुंचता था।