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    हाथ से लिखें ढाई आखर की पाती... डाक विभाग देगा पुरस्कार, प्रतियोगिता में ऐसे लें भाग

    Updated: Tue, 25 Nov 2025 12:27 PM (IST)

    यमुनानगर में डाक विभाग ने 'ढाई आखर पत्र लेखन' प्रतियोगिता शुरू की है, जिसका उद्देश्य युवाओं में पत्र लिखने की कला को पुनर्जीवित करना है। यह प्रतियोगिता दो श्रेणियों में आयोजित की जा रही है, जिसमें हिंदी और अंग्रेजी में भाग लिया जा सकता है। राष्ट्रीय स्तर पर आकर्षक पुरस्कार दिए जाएंगे। अंतिम तिथि 15 दिसंबर है, और विभाग का लक्ष्य युवाओं में लेखन कौशल और भाषा के प्रति सम्मान को बढ़ावा देना है।

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    पिछले साल हुई प्रतियोगिता का फाइल फोटो (जागरण फोटो)

    दीपक प्रजापति, यमुनानगर। डिजिटल दुनिया की तेज रफ्तार में जहा संदेश सेकंडों में मोबाइल स्क्रीन पर उभर आते हैं, वहीं डाक विभाग ने चुपचाप एक ऐसी दस्तक दी है जिसने पुरानी पीढ़ी की यादों और नई पीढ़ी की रचनात्मकता दोनों को एक धागे में पिरो दिया है।

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    ढाई आखर पत्र लेखन प्रतियोगिता ने युवाओं में हाथ से पत्र लिखने का उत्साह फिर से जगाया है। प्रतियोगिता दो श्रेणियों, 18 वर्ष तक और 18 वर्ष से अधिक में आयोजित की जा रही है। हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं में प्रवेश संभव है। राष्ट्रीय स्तर पर प्रथम, द्वितीय और तृतीय पुरस्कार क्रमशः 50 हजार, 25 हजार और 10 हजार रुपये तय किए गए हैं, जबकि राज्य स्तर पर यह राशि 25 हजार, 10 हजार और 5 हजार रुपये रहेगी।

    डाक विभाग मानता है कि पत्र सिर्फ शब्दों का संग्रह नहीं, बल्कि भावनाओं का वह दस्तावेज है जो डिजिटल संदेशों की भीड़ में खोता जा रहा था। मुख्य डाकघर यमुनानगर के पोस्टमास्टर सुरेंद्र कुमार ने बताया कि लेखक को पत्र हाथ से लिखना अनिवार्य है। यह प्रतियोगिता केवल लेखन कौशल की नहीं, बल्कि भाव-संप्रेषण की खूबसूरती की भी परीक्षा है। विभाग ने इस वर्ष ‘ढाई आखर-एक पत्र रोल माडल’ विषय चुना है।

    इसमें भागेदारी के नियम

    • अपना पूरा नाम, पता (पीओ बाक्स नहीं), शहर, पिन कोड, मोबाइल नंबर और ईमेल आइडी पत्र में अवश्य लिखें।
    • पत्र हाथ से लिखा ही स्वीकार्य होगा।
    • प्रतियोगिता सभी भारतीय नागरिकों के लिए खुली है।
    • अंतिम तिथि 15 दिसंबर तय की गई है।

    इनाम बड़ा, पर ये अवसर उससे भी बड़ा

    राष्ट्रव्यापी स्तर पर हजारों प्रतिभागी हर वर्ष इस प्रतियोगिता में भाग लेते हैं। इस बार पुरस्कार राशि बढ़ने और प्रचार-प्रसार व्यापक होने से उम्मीद है कि प्रतिभागियों की संख्या और भी अधिक रहेगी। विभाग का लक्ष्य है कि युवाओं में मौलिक अभिव्यक्ति, स्वच्छ लेखन और भाषा के प्रति सम्मान को फिर से प्रतिष्ठा मिले।

    स्कूल छात्र हों या वरिष्ठ नागरिक सभी के लिए यह अवसर है कि वे अपनी भावनाओं को शब्दों में ढालते हुए डाक विभाग की इस अनूठी पहल का हिस्सा बनें।-सुरेंद्र कुमार, मुख्य पोस्टमास्टर, डाकघर यमुनानगर