ऑपरेशन सिंदूर और एअर स्ट्राइक में रोहतक के बेटे ने दिखाया था साहस, चुरू में जगुआर हादसे में लोकेंद्र सिंधु हुए बलिदान
चूरू में जगुआर विमान हादसे में शहीद हुए स्क्वाड्रन लीडर लोकेंद्र सिंधु ही विमान चला रहे थे। उन्होंने पहले भी पाकिस्तान के खिलाफ एअर स्ट्राइक में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। ऑपरेशन सिंदूर में भी उन्होंने वायुसेना का नेतृत्व किया था। उनके मामा राजकुमार ने बताया कि ऑपरेशन सिंदूर पर जाने से पहले उन्होंने परिवार से बात की और फिर तीन दिन तक उनका फोन बंद रहा।

मनोज खर्ब, रोहतक। चुरू में हुए जगुआर हादसे में बलिदान हुए स्क्वाड्रन लीडर लोकेंद्र सिंधु ही विमान को उड़ा रहे थे। इससे पहले भी लोकेंद्र सिंधु ने पाकिस्तान के खिलाफ की गई एअर स्ट्राइक में भी उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी। हाल ही में ऑपरेशन सिंदूर में भी कई मोर्चे पर वायुसेना की टुकड़ी को लीड कर अपने अदम्य साहस का परिचय दिया था।
उनके मामा राजकुमार बताते हैं कि ऑपरेशन सिंदूर पर जाने से पूर्व ही लोकेंद्र ने स्वजन से बात की थी। इसके बाद तीन दिन तक फोन बंद रखा। उन्होंने पूरे मोर्चे की जिम्मेदारी को संभाला और मिशन विजय के बाद ही लौटे थे। तीन दिन परिवार में छोटा होने से पिता जोगेंद्र उन्हें सबसे ज्यादा प्यार करते थे।
हादसे की सूचना के बाद से पिता की आंखों से आंसू रुक नहीं पा रहे हैं। लोकेंद्र की पत्नी सुरभि सिंधु मनोविज्ञान में पीएचडी कर रही हैं। लोकेंद्र के भाई का साला भी सूरतगढ़ में वायुसेना में तैनात है। उसने ही सुरभि को लोकेंद्र के बलिदान होने की जानकारी दी।
हादसे से पहले फैमिली ग्रुप में शेयर किये थे बेटे के फोटो
बड़े भाई योगेंद्र ने बताया कि लोकेंद्र बुधवार सुबह जगुआर एअरक्राफ्ट पर ट्रेनिंग उड़ाने निकले थे। इससे पहले उन्होंने सुबह 10 बजे पिता को फोन किया। उन्होंने फैमिली वॉटसऐप ग्रुप में अपने बेटे के फोटो भी शेयर किये।
बता दें कि 10 जून को लोकेंद्र के बेटे का जन्म हुआ था। वहीं, 30 जून को वह ड्यूटी पर लौट गए थे। लोकेंद्र और उनकी बहन एक ही पद पर थे, लेकिन बहन सेवानिवृत्त हो चुकी हैं। जीजा विंग कमांडर हैं।
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