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    मार्च तक नई अनाज मंडी में 843 करोड़ की लागत से बनेंगे तीन नए शेड

    By JagranEdited By:
    Updated: Wed, 01 Jan 2020 07:00 PM (IST)

    रतन चंदेल रोहतक नई अनाज मंडी में इस साल किसानों को दिक्कतें पेश नहीं आएंगी। रबी फसल ले

    मार्च तक नई अनाज मंडी में 843 करोड़ की लागत से बनेंगे तीन नए शेड

    रतन चंदेल, रोहतक

    नई अनाज मंडी में इस साल किसानों को दिक्कतें पेश नहीं आएंगी। रबी फसल लेकर मंडी में आने वाले किसानों को इस बार यहां शेड की सुविधा मिल सकेगी। इसके लिए मंडी में तीन अलग अलग स्थानों पर नए शेड बनाए जा रहे हैं। अधिकारियों की मानें तो इन पर 843 करोड़ की लागत आने की संभावना है। अधिकारियों का दावा है कि अप्रैल में गेहूं की आवक से पहले शेड निर्माण का कार्य पूरा कर लिया जाएगा। रबी फसल की आवक के समय किसानों को शेड संबंधित कोई दिक्कत नहीं होगी। जानकारों की मानें तो मंडी में कुल पांच नए शेड बनाए जाने हैं। जिनमें से दो शेड पहले ही बनाए जा चुके हैं। जबकि तीन अन्य के निर्माण का कार्य किया जा रहा है। तीनों नए शेड्स पर करीब 843 करोड़ की लागत आने का अनुमान है। इसके अलावा पांच दुकानों के आगे फड़ भी बनाई जाएंगी। एक साल पहले हुई थी शुरुआत

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    जानकारों का कहना है कि मंडी में नए शेड बनाए जाने की शुरूआत जनवरी 2019 में की गई थी। जबकि इसके लिए टेंडर 2018 में ही हो गए थे। लेकिन कार्य शुरू होने के एक साल बाद तक भी इनका निर्माण पूरा नहीं हुआ है। हालांकि अधिकारियों का कहना है कि शेड निर्माण का कार्य तेजी से किया जा रहा है। मार्च के अंत तक इसे पूरा कर लिया जाएगा। भीग गई थी खरीफ फसलें

    नई अनाज मंडी में शेड की पर्याप्त व्यवस्था के चलते उस वक्त किसानों को भारी दिक्कतें उठानी पड़ी थी, जबकि अक्टूबर महीने में मौसम खराब हो गया और भारी बारिश व ओलावृष्टि से यहां खुले में रखी खरीफ फसलें भीग गए थी। जिससे किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ा था। जिसके बाद किसानों ने अधिकारियों से मुलाकात की और इस समस्या को जोरदार तरीके से उठाया। अधिकारियों के आश्वासन पर आई तेजी

    किसानों का कहना है कि अधिकारियों ने किसानों की समस्याओं को बेहतर तरीके से सुना और शेड की समस्या का समाधान करने का आश्वासन दिया। जिसके बाद विभागीय अधिकारियों ने कार्य में तेजी दिखाई। उम्मीद है कि अगले कुछ माह में यहां पर तीनों शेड बनकर तैयार हो जाएंगे। किसानों ने यह भी कहा कि पुराने शेड एक साथ नहीं तोड़ने चाहिए थे। एक एक कर तोड़ते हुए उनके स्थान पर नए शेड बनाए जाने चाहिए थे। मंडी में शेड निर्माण तो किया जा रहा है लेकिन इस समय पर पूरा कराया जाए तो ही किसानों को इसका लाभ हो पाएगा।

    - इंद्र देव, किसान। किसानों को खरीफ के सीजन में भी मंडी में दिक्कतें हुई थी। अब अगर समय पर शेड नहीं बने तो रबी सीजन में भी समस्या हो सकती है।

    - रमेश, किसान। किसानों के लिए मंडी में पर्याप्त शेड की सुविधा नहीं है। इसी कारण उनको खुले में अनाज रखना पड़ता है। जिससे किसानों को नुकसान पहुंचता है।

    - सुखेंद्र, किसान। किसानों की सुविधाओं की ओर अधिकारियों का ध्यान नहीं है। उनकी सुध लेने के लिए कोई आगे नहीं आ रहा है। सरकार किसान और मजदूरों की सुध ले।

    - सुरेश, किसान। किसान अन्नदाता है। उसी की समस्या का समाधान नहीं हुआ तो कैसे काम चलेगा। शेड एक साथ नहीं तोड़ने चाहिए थे। इससे किसानों को दिक्कतें हुई हैं।

    - बिजेंद्र, किसान। खरीफ के सीजन में किसानों को नई अनाज मंडी में भारी दिक्कतें उठानी पड़ी थी। शेड निर्माण नहीं हुआ तो रबी सीजन में भी समस्या आ सकती है।

    - नान्हा, किसान। किसानों की समस्या का समाधान करने के लिए नई अनाज मंडी में तीनों शेड का निर्माण मार्च तक होना चाहिए। इसके साथ ही यहां सुविधाएं भी बढ़ाई जाएं।

    - रोहतास, किसान। नई अनाज मंडी में तीन शेड का निर्माण कार्य चल रहा है। 31 मार्च तक इन तीनों शेड का निर्माण कार्य पूरा कर लिया जाएगा, ताकि गेहूं की आवक के समय किसानों को कोई दिक्कत पेश न आए और उनको यहां शेड उपलब्ध हो सके।

    - अजय राठी, कार्यकारी अभियंता, मार्केटिग बोर्ड, रोहतक।

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