Haryana News: सड़क हादसे में घायल की बचाएं जान और पाएं 25 हजार का इनाम, प्रदेश में शुरू की गई राहवीर योजना
रेवाड़ी में सड़क दुर्घटना पीड़ितों की मदद करने वालों को अब 25 हजार रुपये का इनाम मिलेगा। केंद्र सरकार की राहवीर योजना हरियाणा में लागू हो गई है जिसके तहत गोल्डन आवर में घायल को अस्पताल पहुंचाने वाले मददगारों को यह राशि दी जाएगी। इस योजना का उद्देश्य दुर्घटना में घायल लोगों की जान बचाना और लोगों को प्रोत्साहित करना है। योजना 31 मार्च 2026 तक जारी रहेगी।

जागरण संवाददाता, रेवाड़ी: केंद्र सरकार के सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय द्वारा शुरू की गई राहवीर योजना को हरियाणा में लागू किया गया है।
इस योजना के तहत किसी गंभीर दुर्घटना में घायल व्यक्ति को गोल्डन आवर (एक घंटे के भीतर) में अस्पताल अथवा ट्रामा सेंटर में पहुंचाकर घायल व्यक्ति की जान बचाने वाले मददगार व्यक्ति को 25 हजार रुपये का इनाम दिया जाएगा।
डीसी अभिषेक मीणा ने बताया कि इस योजना का मुख्य उद्देश्य दुर्घटना के दौरान घायल हुए व्यक्ति को उसी समय अस्पताल पहुंचा कर उसकी जान बचाने का भरसक प्रयास करना और समय पर मदद के लिए आमजन को प्रोत्साहित करना है।
डीसी ने बताया कि गंभीर दुर्घटनाओं में मेजर सर्जरी, कम से कम तीन दिन तक हास्पिटलाइजेशन, ब्रेन इंजरी, स्पाइनल कार्ड इंजरी आदि शामिल हैं।
उन्होंने बताया कि मोटर वाहन (संशोधन) अधिनियम 2019 की धारा 134ए और भारत सरकार की 29 सितंबर 2020 की अधिसूचना के तहत राहवीर को कानूनी संरक्षण दिया जाएगा।
उन्होंने बताया कि हर गंभीर सडक़ दुर्घटना मे मदद करने वाले राहवीर को 25 हजार रुपये इनाम और प्रशस्ति-पत्र दिया जाएगा।
उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि एक राहवीर मोटर वाहन से हुई दुर्घटना में एक या एक से अधिक पीडि़तों की जान बचाता है तो पुरस्कार की राशि इतनी ही अर्थात 25 हजार रुपये होगी।
एक से अधिक राहवीर मोटर वाहन से जुड़ी किसी गंभीर दुर्घटना के एक पीडि़त की जान बचाते हैं, तो पुरस्कार की राशि अर्थात 25 हजार रुपये की राशि उनके बीच समान रूप से विभाजित की जाएगी।
अधिक घायलों की जान बचाई जाती है तथा राहवीर एक से अधिक है तो प्रत्येक पीड़ित के अनुसार उनको 25 हजार रुपये का पुरस्कार व प्रशस्ति पत्र दिए जाएंगे।
उन्होंने बताया कि योजना की समय सीमा 31 मार्च 2026 तक रहेगी। उन्होंने आमजन से आह्नान किया कि वह सड़क दुर्घटनाओं में गंभीर रूप से घायल व्यक्ति की मदद करते समय डरे नहीं, बल्कि बिना डरे दिल खोलकर घायल व्यक्ति की मदद के लिए आगे आएं।
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