राकेश टिकैत ने सरकार पर साधा निशाना, जनता के मुद्दों पर नहीं है वोट पर ध्यान
राकेश टिकैत यमुनानगर के रादौर पहुंचे। यहां पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए सरकार पर निशाना साधा। राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार का जनता के मुद्दों पर ध्यान नहीं है। सरकार का ध्यान वोट पर है। किस तरह से वोट हासिल किया जाए।

रादौर (यमुनानगर), संवाद सहयोगी। देश की सरकार जनता के मुद्दों पर नहीं केवल वोट कैसे हासिल करनी है, इसकी राजनीति कर रही है। देश में आज मंहगाई, बेरोजगार व फसलों का उचित मूल्य मुख्य मुद्दा है, लेकिन सरकार का इस ओर बिल्कुल भी ध्यान नहीं है। वह केवल वोट कैसे हासिल किए जाने इसका गणित फिट करने में लगी रहती है। अब जनता इन्हें सबक सीखाने के लिए तैयार है। उक्त शब्द भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहे। वह गांव कांजनू में जिला अध्यक्ष सुभाष गुर्जर की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में पहुंचे थे। यहां पहुंचने पर किसानों ने उनका फूलमालाओं से स्वागत किया। उनके साथ प्रदेश अध्यक्ष रतनसिंह मान भी पहुंचे। बाद में बिलासपुर के गांव संखेड़ा में भी गए।
राकेश टिकैत ने कहा कि आज यूक्रेन में देश की हजारों युवा फंसे हुए है, लेकिन सरकार उन्हें स्वदेश लाने में देरी कर रही है। यह सरकार की नाकामी है। किसान आंदोलन के दौरान देश के 750 किसानों की जान गई। आज तक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उनकी शहादत पर एक शब्द भी नहीं बोला। यह पूरे देश के किसानों का अपमान है। आंदोलन जब वापिस लिया गया था तो उस समय सरकार के साथ जो समझौता हुआ था। उस पर सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की है। जिससे देश के किसानों में रोष है। गेहूं का सीजन नजदीक है। सरकार ने अभी तक एमएसपी पर कोई कमेटी नहीं बनाई है। इससे साबित होता है कि सरकार की नीयत में खोट है।
पांच राज्यों के चुनावों पर उन्होंने कहा कि चुनाव हो चुके हैं। उत्तर प्रदेश में केवल एक चरण का चुनाव बाकी है। इन चुनावों में जनता ने भाजपा के खिलाफ मतदान किया है। यह वोटो की गिनती के बाद साबित हो जाएगा, लेकिन इसके लिए उन्हें गिनती होने तक पहरेदारी भी करनी होगी। नहीं तो जनादेश को दिक्कत आ सकती है। उन्होंने कहा कि 2022 संगठन को मजबूत करने के लिए तय किया गया है। इसमें संगठन को मजबूती देने का हर संभव प्रयास किया जाएगा और लोगों से मेल मिलाप भी किया जाएगा। इस अवसर पर जिला अध्यक्ष सुभाष गुर्जर, विजेंद्र राणा, अशोक कांजनू, विनोद डांगी, जयपाल चमरोड़ी, रामकुमार कांबोज, मंगूराम, शमशेर सिंह, बलिंद्र इत्यादि मौजूद थे।
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