Paper solver gang: JEE सहित कई परीक्षाओं में कंप्यूटर हैक कर परीक्षा पास कराने वाले गिरोह का पर्दाफाश, CBI को भी थी तलाश
Paper solver gang पानीपत में कंप्यूटर हैक करके जेईई सहित कई सरकारी परीक्षाओं को पास कराने वाला गिरोह का पर्दाफाश हुआ है। सीबीआइ को भी इस गिरोह की तलाश थी। गिरोह के सरगना सहित छह लोगों को गिरफ्तार किया गया।

पानीपत, जागरण संवाददाता। गुरुग्राम और सोनीपत की एसटीएफ (स्पेशल टास्क फोर्स) की संयुक्त टीम ने जेईई सहित अन्य सरकारी परीक्षाओं में कंप्यूटर हैक कर अभ्यर्थियों को पास करवाने वाले गिरोह के सरगना सहित छह लोगों को गिरफ्तार किया है। एसटीएफ ने सरगना सोनीपत के गोरड गांव का अशोक उर्फ शौकी, मोनू व आशीष को सोनीपत से गिरफ्तार कर आठ दिन के रिमांड पर लिया है।
वहीं, राजस्थान के जयपुर के मोती नगर निवासी आकाश, दौसा के कोंडला के गौरी और जयपुर के आकाश को एसटीएफ महाराष्ट्र के नागपुर से गिरफ्तार कर पानीपत ला रही है। इसके अलावा गिरोह से जुड़े 30 और आरोपितों की तलाश की जा रही है। आरोपितों के खिलाफ पानीपत के सेक्टर 13-17 थाने में आइटी एक्ट के तहत मामला दर्ज है। एसपी शशांक कुमार सावन ने वीरवार को प्रेस वार्ता में बताया कि सरगना अशोक व उसके गिरोह में शामिल 40 सदस्य पांच साल से नीट, जेईई, रेलवे, पुलिस, एसएससी जैसी बड़ी परीक्षाएं पास कराते थे। इसके लिए 2016 में जयपुर में दो, 2017 में दिल्ली, 2018 में सोनीपत, 2019 व 2021 में पानीपत के परीक्षा केंद्र में कांट्रेक्ट पर कंप्यूटर लैब ले रखी थीं। यहीं से आनलाइन व आफलाइन परीक्षा पास करवाते थे।
लैब का रिकार्ड होगा सील, कर्मचारियों से होगी पूछताछ
परीक्षार्थी आनलाइन परीक्षा के लिए सेंटर पर जाता है तो उसकी बायोमैटिक एंट्री होती है। साथ ही उसे लागइन आइडी और पासवर्ड के साथ कंप्यूटर सिस्टम अलाट किया जाता है। तभी उसका कंप्यूटर हैक कर लिया जाता है और उसे दूसरी सीट पर बैठा दिया जाता है। ऐसा कर्मचारियों की सांठगांठ के बिना संभव नहीं है। आरोपितों ने पानीपत में एशिया पैसिफिक इंस्टीट्यूट आफ इफोमेशन टेक्नालाजी (एपीआइआउटी) में लैब बना रखी थी। एसटीएफ लैब का रिकार्ड सील कर कर्मचारियों से भी पूछताछ करेगी।
पांच साल में 100 को पास कराई जेईई, करोड़ की संपत्ति जोड़ी
एसपी शशांक कुमार सावन ने बताया कि प्रारंभिक जानकारी के अनुसार गिरोह के सरगना अशोक व उसके साथियों ने पांच साल में करीब 100 परीक्षार्थियों को जेईई की परीक्षा पास कराकर करोड़ों रुपये कमाए हैं। कानूनी प्रक्रिया के तहत उनकी संपत्ति को अटैच किया जाएगा। आरोपितों के बैंक बैलेंस का भी पता लगाया जा रहा है।
हैकिंग के लिए साफ्टवेयर का करते थे प्रयोग
अशोक व उसके साथी लैब में कंप्यूटर में हैकिंग साफ्टवेटर डाल देते थे। इसके बाद देसी व विदेशी साफ्टेवर हैकर को बुलाकर कंप्यूटर को हैक करवा लेते थे। परीक्षा में बैठे परीक्षार्थी का आटोमैटिक तरीके से जो कंप्यूटर सिस्टम अलाट होता है, नकल कराने के लिए उसे ही हैक कर लिया जाता है। तब वह कंप्यूटर काम नहीं करता तो परीक्षार्थी को दूसरे सिस्टम पर बैठाया जाता है। इस कंप्यूटर में न केवल इंटरनेट कनेक्शन होता है, बल्कि इसमें एक खास साफ्टवेयर भी होता है। परीक्षार्थी इस सिस्टम पर बैठकर पेपर हल करने का नाटक करता रहता था। सेंटर से दूर बैठे 15 से 20 साल्वर प्रश्नों के उत्तर देते थे।
सरगना पर भिवानी पुलिस ने रखा है एक लाख का इनाम
आरोपित परीक्षार्थियों से पांच लाख से 70 लाख रुपये तक ले लेते थे। सीबीआइ भी फर्जी तरीके से प्रवेश परीक्षा पास कराने के मामले की जांच कर रही है। सीबीआइ को भी इन आरोपितों की तलाश थी। इसके अलावा भिवानी के सदर थाने में दर्ज एक मामले में अशोक पर एक लाख और मोनू पर 50 हजार रुपये का इनाम घोषित है।
कंप्यूटर के जानकार हैं आरोपित
आरोपित बीए व एमए पास हैं। लगभग सभी आरोपियों ने एक से दो साल का कंप्यूटर कोर्स भी किया हुआ है। कंप्यूटर और तकनीक के अच्छे जानकार हैं। गिरोह ने हरियाणा, दिल्ली, राजस्थान, महाराष्ट्र सहित कई प्रदेशों में जाल बिछा रखा है।
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