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    करनाल में जत्थेदार बलजीत सिंह दादूवाल बोले, झिंडा के साथ दागी सदस्य, कैसे करेंगे गुरुद्वारों की सेवा

    करनाल में हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान जत्थेदार बलजीत सिंह दादूवाल ने कहा कि कमेटी में देश-विदेश और सिख संगत के विद्वानों को भी सलाहकार के रूप में शामिल किया जाए। देखना होगा कि सरकार पुरानी कमेटी या मौजूदा कमेटी में किसे काम सौंपती है।

    By Jagran NewsEdited By: Naveen DalalUpdated: Wed, 05 Oct 2022 06:27 PM (IST)
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    2014 में सरकार ने कमेटी सदस्य मनोनीत किए थे।

    करनाल, जागरण संवाददाता। हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान जत्थेदार बलजीत सिंह दादूवाल ने सवाल उठाया कि जगदीश झिंडा क्या दागी सदस्यों के साथ हरियाणा के गुरुद्वारों का प्रबंध संभालेंगे ? इन सदस्यों में एक को चरित्र संबंधी आरोप में सदस्यता से अयोग्य करार दिया जा चुका है तो एक पर नशा तस्करी के आरोप हैं। सुप्रीम कोर्ट ने हरियाणा सरकार को अधिकृत किया है। सरकार जिसे चाहेगी, उसे गुरुद्वारों की सेवा का काम सौंपेंगी। 2014 में सरकार ने कमेटी सदस्य मनोनीत किए थे। हरियाणा सरकार ने बाद में सदस्य मनोनीत किए। करनाल से तब एक सदस्य को तीन सदस्यीय कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर अयोग्य घोषित किया गया था।

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    उन्होंने कहा कि कमेटी में देश-विदेश और सिख संगत के विद्वानों को भी सलाहकार के रूप में शामिल किया जाए। देखना होगा कि सरकार पुरानी कमेटी या मौजूदा कमेटी में किसे काम सौंपती है। फिर 40 वार्डों और मतदाता सूची के साथ चुनाव के लिए आयोग और कमेटी का गठन होगा। जो कमेटी चुनकर आएगी, वही आगे काम करेगी। उन्होंने मुख्यमंत्री से शीघ्र कमेटी गठन की मांग करते हुए कहा कि संगत को भ्रम में नहीं डालना चाहिए। उन्हें प्रधान पद का कोई मोह नहीं है। वह पंथ की सेवा कर रहे हैं और करते रहेंगे। नाडा साहिब में शुकराना पाठ नौ अक्टूबर को होगा। मुख्यमंत्री की तरफ से भी अरदास की जाएगी। वह सभी को न्यौता देने आए हैं।

    ये लोग रहे मौजूद

    दादूवाल बुधवार को डेरा कारसेवा में पत्रकारों से बात कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जगदीश झिंडा के साथ नशेड़ी किस्म के लोग रहते हैं। उनके साथ रहने वाला सदस्य कुरुक्षेत्र में नशे के साथ पकड़ा गया था, जिस पर केस दर्ज है। वह 33 सदस्य साथ होने के गैर-कानूनी दावे करते हैं। इस दौरान डेरा कारसेवा के महंत बाबा सुक्खा सिंह की सरपरस्ती में सरताज सिंह सिंघड़ा, बलजिंदर कौर खालसा, गुरप्रसाद सिंह फरीदाबाद, मलकीत सिंह, सर्वजीत सिंह, प्रीतपाल आहलूवालिया, स्वर्ण सिंह रतिया, सर्वीत सिंह सचिव, इंद्रपाल सिंह, अमरजीत चीमा, जसबीर सिंह बराड़ आदि उपस्थित थे। उन्होंने कहा कि अर्से बाद सुप्रीमकोर्ट ने हरियाणा की सिख संगत को सुनहरा अवसर दिया है। ऐसे में लड़ाई के बजाए मिलकर गुरुद्वारों की सेवा करनी चाहिए। शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान और अकाली दल केे जत्थेदार इसके लिए आशीर्वाद देना चाहते हैं। हरियाणा कमेटी में शिरोमणि कमेटी के साथ दिल्ली कमेटी के प्रतिनिधि को शामिल करना चाहिए।