Updated: Mon, 08 Sep 2025 09:17 PM (IST)
हरियाणा तेजी से ड्रोन हब बनने की ओर अग्रसर है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने 252 ड्रोन पायलटों को प्रमाण पत्र दिए। हिसार में ड्रोन प्रशिक्षण संस्थान का ई-शुभारंभ किया गया। फतेहाबाद झज्जर गुरुग्राम सोनीपत और सिरसा में भी ट्रेनिंग सेंटर शुरू हुए हैं। कृषि विभाग और हरियाणा स्किल डेवलपमेंट मिशन मिलकर काम कर रहे हैं। ड्रोन से खेती और सुरक्षा क्षेत्र में सुधार होगा।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। हरियाणा तेजी से ड्रोन हब बनने की दिशा में अग्रसर है। इसी कड़ी में प्रदेश में 252 ड्रोन पायलट तथा 136 ड्रोन तकनीशियन और तैयार हुए हैं, जिन्हें मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने सोमवार को दीक्षांत समारोह में प्रमाणपत्र सौंपे। साथ ही हिसार के सिसाय में देश के पहले और दक्षिण एशिया के सबसे बड़े ड्रोन प्रशिक्षण संस्थान और ड्रोन विनिर्माण यूनिट का ई-शुभारंभ भी किया।
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इसके अलावा फतेहाबाद, झज्जर, गुरुग्राम, सोनीपत और सिरसा में भी रिमोट पायलट ट्रेनिंग सेंटर शुरू हो गए हैं, जिससे युवाओं को अपने घर के नजदीक ही प्रशिक्षण की सुविधा मिल सकेगी।
तकनीक और युवा सशक्तीकरण की दिशा में कृषि विभाग और हरियाणा स्किल डेवलपमेंट मिशन एवीपीएल इंटरनेशनल के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। हरियाणा निवास में आयोजित कार्यक्रम में कृषि, आपदा प्रबंधन और रक्षा क्षेत्रों में इस्तेमाल होने वाले ड्रोन के प्रदर्शन के साथ सेना और सशस्त्र बलों के लिए पांच ड्रोन का ई-लोकार्पण भी किया गया।
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि हरियाणा के युवाओं में जबरदस्त क्षमता है कि वे ड्रोन टेक्नाेलाजी में आगे बढ़ें। आज भारत युवाओं के दम पर ही प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की दिखाई राह पर चलते हुए पिछले ग्यारह वर्षों में ग्यारहवीं अर्थव्यवस्था से दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रमाणित 388 ड्रोन पायलटों व तकनीशियनों में से 53 बेटियां हैं, जो महिला सशक्तीकरण की मिसाल पेश कर रही हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा शुरू की गई ‘नमो ड्रोन दीदी’ और ‘किसान ड्रोन’ जैसी योजनाएं ग्रामीण समुदाय और किसानों को सशक्त बना रही हैं। ड्रोन से खेती-किसानी में समय और श्रम की बचत हो रही है तो साथ ही उत्पादन और आय में भी बढ़ोतरी हो रही है। उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री राव नरबीर सिंह ने कहा कि ड्रोन से जहां उन्नत खेती, दवा और खाद-बीज का छिड़काव तथा फसल की निगरानी जैसी गतिविधियां आसान होंगी, वहीं रक्षा और सुरक्षा क्षेत्र भी मजबूत होगा।
सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट जनरल डा. राकेश कुमार आनंद ने बताया कि पहली बार ड्रोन पायलट एप बनाया है, जिससे किसान अपनी खेती के लिए ड्रोन किराये पर ले सकते हैं। हरियाणा में देश के सर्वाधिक ड्रोन बन रहे हैं। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव अरुण कुमार गुप्ता तथा विदेश सहयोग विभाग के सलाहकार पवन चौधरी ने भी अपनी बात रखी।
10 ड्रोन फ्लाई जोन सिर्फ हरियाणा में
एवीपीएल इंटरनेशनल की सह-संस्थापक एवं प्रबंध निदेशक डा. प्रीत संधू ने कहा कि हमें युवाओं को डीप टेक से जोड़कर इनोवेशन की तरफ ले जाना होगा। हरियाणा के युवाओं में कौशल विकास का सबसे ज्यादा जज्बा है। इसी कारण 10 ड्रोन फ्लाई जोन सिर्फ हरियाणा में ही शुरू किए गए हैं।
डीजीसीए प्रमाणित स्किल्स से लैस युवा प्रोफेशनल्स के साथ-साथ समाज और कृषि में नेतृत्व भी करेंगे। यह पहल ग्रामीण युवाओं को बिना गांव छोड़े उच्च वेतन वाले करियर और उद्यमिता के अवसर उपलब्ध कराएगी।
चेयरमैन दीप सिहाग ने कहा कि प्रदेश सरकार के सहयोग से ही यह संभव हुआ है। अब ड्रोन तकनीक सिर्फ शहरों तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि हर गांव, हर छात्र और हर किसान तक पहुंचेगी।
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