उत्तम क्षमा धर्म की पूजा के साथ हुई दशलक्षण महापर्व की शुरुआत
दिगंबर जैन समाज के दशलक्षण महापर्व रविवार से शुरू हो गए हैं।
जागरण संवाददाता, पलवल: दिगंबर जैन समाज के दशलक्षण महापर्व रविवार से शुरू हो गए हैं। भाद्रपद के शुक्ल पक्ष की पंचमी से चतुर्दशी (अनंत चतुर्दशी) तक 10 दिन दशलक्षण महापर्व चलेंगे। पर्व के पहले दिन श्रद्धालुओं ने उत्तम क्षमा धर्म की पूजा की। हालांकि, कोरोना के चलते इस बार कोई भी सामूहिक आयोजन नहीं किया जा रहा है। मंदिरों में सीमित समय के लिए ही श्रद्धालुओं को प्रवेश दिया जा रहा है। श्रद्धालुओं को धार्मिक अनुष्ठान व व्रत घर पर ही रहकर करने को कहा गया है।
इस महापर्व में दिगंबर जैन धर्मावलंबी दस दिन तक उत्तम क्षमा, उत्तम मार्दव, उत्तम आर्जव, उत्तम शौच, उत्तम सत्य, उत्तम संयम, उत्तम तप, उत्तम त्याग, उत्तम अकिचन्य, उत्तम ब्रह्मचर्य धर्म का पूजन आत्म शुद्धि की भावना के साथ करेंगे। यह पर्व समाज को 'जियो और जीने दो' का संदेश देता है। भगवान महावीर के मूल सिद्धांत अहिसा परमो धर्म, जियो और जीने दो की राह पर चलना सिखाता है तथा मोक्ष प्राप्ति के द्वार खोलता है।
श्री शांति नाथ दिगंबर जैन मंदिर के प्रधान राकेश कुमार जैन ने बताया कि रविवार को पर्व का पहला दिन श्रद्धालुओं ने घरों में रहकर उत्तम क्षमा के रूप में मनाया है। उत्तम क्षमा धर्म में हम उनसे क्षमा मांगते हैं, जिनके साथ हमारे मतभेद हों और उन्हें क्षमा करते हैं, जिन्होंने हमारे साथ गलत व्यवहार किया हो। उन्होंने बताया कि इस बार मंदिर में कोई भी सामूहिक, धार्मिक कार्यक्रम नहीं रखा गया है। राकेश कुमार जैन ने श्रद्धालुओं से अपील है कि कोरोना से बचाव के लिए घरों में रहकर ही पूजा पाठ करें। हालांकि, मंदिर खुला रहेगा। सीमित समय के लिए ही श्रद्धालुओं को आने की अनुमति है। मंदिर में मास्क पहनकर ही आएं।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।