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    रात को सोते समय दांत पीसना पेट में कीड़े नहीं, तनाव

    By JagranEdited By:
    Updated: Thu, 04 Mar 2021 06:02 AM (IST)

    अगर आपका बच्चा रात को सोते हुए दांत पीसता है तो उसको पेट में कीड़े नहीं हैं। बल्कि यह बच्चे में तनाव का बड़ा कारण है। जी हां..रात को सोते समय बच्चा अगर दांत पीसता है तो उसे पेट में कीड़े नहीं बल्कि तनाव है।

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    रात को सोते समय दांत पीसना पेट में कीड़े नहीं, तनाव

    जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : अगर आपका बच्चा रात को सोते हुए दांत पीसता है तो उसको पेट में कीड़े नहीं हैं। बल्कि यह बच्चे में तनाव का बड़ा कारण है। जी हां..रात को सोते समय बच्चा अगर दांत पीसता है तो उसे पेट में कीड़े नहीं बल्कि तनाव है। अब तक हम दांत पीसने को पेट में कीड़े की बीमारी से जोड़कर देखते हैं, लेकिन मनोरोग विशेषज्ञ इसे तनाव का कारण बताते हैं। होम वर्क और दूसरे कई कारण

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    अब आपके मन में सवाल उठ रहा होगा कि छोटे से बच्चे को किस बात का तनाव तो मनोरोग विशेषज्ञ के मुताबिक तीन वर्ष की उम्र के बाद किसी को कभी भी किसी भी बात से तनाव हो सकता है। बच्चे को स्कूल में जाने का तनाव, होम वर्क नहीं करके स्कूल जाने का तनाव या किसी की डांट का तनाव हो सकता है। तनाव की कोई उम्र नहीं होती। बहुत से युवा और बड़ी उम्र के लोग भी रात को सोते हुए दांत पीसते हैं, उन्हें भी किसी न किसी बात का तनाव या गुस्सा होता है, जिसे वे दिन के समय व्यक्त नहीं कर सकते और रात को नींद में वही गुस्सा या तनाव दांतों को पीसकर निकालते हैं।

    मनोरोग विशेषज्ञ डा. सुरेंद्र मंढान के मुताबिक दांत पीसने की समस्या को पेट के कीड़ों से जोड़कर नहीं बल्कि तनाव को जोड़कर देखा जाना चाहिए। जो बच्चा, युवा या बुजुर्ग रात को सोते हुए दांत पीसते हैं उनसे पांच मिनट बैठकर उनकी समस्या जानने का प्रयास करें। ज्यादा समस्या बढ़ने पर मनोरोग विशेषज्ञ को जरूर दिखाएं, क्योंकि यही तनाव आगे चलकर किसी बीमारी में बदल सकता है। भ्रांति : दांत पीस रहा है तो पेट में होंगे कीड़े

    मनोरोग विशेषज्ञ डा. सुरेंद्र मंढान ने बताया कि यह भ्रांति है कि दांत पीसने वाले बच्चे या किसी व्यक्ति के पेट में कीड़े हैं इसलिए वह दांत पीस रहा है। ऐसे बच्चों को हम पेट में कीड़ों की दवा खिला देते हैं, लेकिन सही समस्या तक पहुंचते ही नहीं। दवा खिलाने के बाद कुछ दिन हमें लगता है कि पेट के कीड़े मर गए, लेकिन वह समस्या फिर शुरू हो जाती है। जबकि असली समस्या पेट में नहीं बल्कि दिलोदिमाग में चल रही होती है। ऐसे बच्चों से प्रेम से बात करके उनकी परेशानी पूछनी चाहिए। दिन भर बच्चा या दांत पीसने वाला व्यक्ति कहां दबाव मान रहा है या उसे किस बात की वजह से डर की अनुभूति हो रही है। यह देखना चाहिए। ऐसे बच्चे को मनोरोग विशेषज्ञ के पास लेकर जाएं। हाइट फोबिया में भी दांत पीसने लगता है किशोर : सोनिया

    किशोर परामर्शदाता सोनिया ने बताया कि उनके पास एक केस आया है, जिसमें किशोर व उसके माता पिता ने बताया कि जागते-जागते अचानक वह दांत पीसने लगता है। उसे पता भी नहीं लगता अचानक वह दांत पीसने लगता है। जब हिस्ट्री निकाली और काउंसिलिग कि तो पता चला उसे हाइट फोबिया है। यानी ऊंचाई पर जाते ही किशोर दांत पीसने लगता है। इसके बाद उसकी काउंसिलिग की गई।