करनाल: पिता का सिर से हाथ उठने के बाद शुभम ने अपराध की दुनिया में रखा था कदम, बचपन में था बेहद समझदार
इंद्री के छापर मुर्स्तका गांव का शुभम, पिता की मौत के बाद अपराध की दुनिया में चला गया। उस पर लूट, डकैती और हत्या जैसे कई मामले दर्ज थे। वह कई सालों से गांव से बाहर था और हाल ही में उसकी मौत हो गई। शुभम के परिवार में उसकी मां और बड़ा भाई है।

पिता का सिर से हाथ उठने के बाद शुभम ने अपराध की दुनिया में रखा था कदम। फाइल फोटो
नरेंद्र धुमसी, इंद्री (करनाल)। कस्बे के गांव छापर मुर्स्तका का रहने वाला शुभम बचपन में बहुत समझदार और होशियार था। करीब दस साल पहले उसके पिता पूर्ण सिंह की मोबाइल टावर से गिरने के कारण मौत हो गई थी तभी से शुभम अपराधा की दलदल में धंसने लग गया।
पिता का साया सिर से उठते ही वह गलत संगत में बैठने लगा और फिर वह एक के बाद एक अपराध करने लगा था।
ग्रामीणों का कहना है कि शुभम का परिवार बहुत शरीफ परिवार था। केवल शुभम ही अपराध की दुनिया में चला गया। कई सालों से वह गांव से बाहर ही रहता था। जेल से जमानत मिलने पर ही कई बार वह गांव में आया है।
पहले शुभम का नाम लड़ाई झगड़ों के मामलों में आता था लेकिन 2020 में इंद्री थाना में उसपर लूट का मामला दर्ज हुआ। इसके बाद लाडवा थाने में 2021 में भी छीना झपटी का केस दर्ज हुआ था। इसके बाद शुभम पर एक के बाद एक मामले दर्ज होते गए।
गाजियाबाद थाने में डकैती का भी था मामला दर्ज
मृतक बदमाश शुभम पर हत्या, लूट व डकैती के कई मामले में दर्ज है। इनमें यमुनानगर के छछरौली थाने में हथियार के बल पर लूट का उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद के कवि नगर थाने में डकैती का, दिल्ली के पांडव नगर थाने में चोट पहुंचाकर डकैती को अंजाम देने और खरखौदा में डबल मर्डर का केस दर्ज था।
घर में है बड़ा भाई और मां
शुभम के पिता पूर्ण चंद की मौत के बाद परिवार में उसकी मां, उसका बड़ा भाई कृष्ण रह गए थे। मां ने ही दोनों भाइयों का पालन पोषण किया। बड़ा भाई कृष्ण शादीशुदा है और उसके बच्चे भी है। शुभम अविवाहित था। वह दसवीं कक्षा तक पढ़ा हुआ था।

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