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    प्रेम प्रसंग में प्रेमी के साथ मिलकर पत्नी ने की थी पति की हत्या, दोनों गिरफ्तार; आरोपी निकला मामा का लड़का

    Updated: Sun, 12 Oct 2025 08:21 PM (IST)

    कैथल में अवैध संबंध के चलते दीपक नामक युवक की हत्या के मामले में पुलिस ने अंजली और कृष्ण कुमार को गिरफ्तार किया है। पूछताछ में पता चला कि अंजलि और कृष्ण के बीच प्रेम संबंध था, जिसके चलते दीपक और कृष्ण का झगड़ा हुआ था। झगड़े में अंजलि और कृष्ण ने मिलकर दीपक को पीटा और उसे कमरे में बंद कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई।

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    प्रेम प्रसंग में प्रेमी के साथ मिलकर महिला ने उतारा पति को मौत के घाट। सांकेतिक फोटो

    जागरण संवाददाता, कैथल। अवैध संबंध के चलते मारपीट कर युवक दीपक की हत्या करने के मामले की जांच सिटी थाना के एसआइ राजकुमार और सीआइए-वन प्रभारी एसआइ जसवंत की संयुक्त टीम ने की। टीम ने महिला आरोपित रजवैली डगरुआ पूर्णिया डगरूआ हाट बिहार निवासी अंजली और कवैया जिला पूर्णिया बिहार निवासी कृष्ण कुमार को गिरफ्तार कर लिया। दोनों आरोपितों को 11 अक्टूबर की शाम खुराना रोड ड्रेन पुल के पास से पकड़ा गया है।

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    प्रेम प्रसंग के चलते ही दीपक की हत्या की गई थी। पूछताछ में सामने आया कि अंजलि व कृष्ण का प्रेम प्रसंग चल रहा था। इस बात को लेकर दीपक व कृष्ण का छह अक्टूबर को झगड़ा हो गया था। उसी समय कृष्ण व अंजलि ने मिलकर लात घूसों से दीपक को गंभीर चोटें मारी थीं। दोनों आरोपित दीपक को कमरे में बंद कर फरार हो गए थे। चोट के कारण बाद में दीपक की मृत्यु हो गई थी।

    दोनों आरोपितों को रविवार को अदालत के आदेशानुसार न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। पकड़ा गया आरोपित कृष्ण मृतक दीपक के मामा का लड़का है। गांव डेरा गदला पट्टी अफगान कैथल निवासी गुरनाम सिंह की शिकायत के अनुसार उसके पास रजवैली हगरुआ पूर्णिया डगरूआ हाट बिहार निवासी दीपक, उसकी पत्नी अंजलि व दीपक का साढ़े पांच वर्षीय लड़का और कवैया जिला पूर्णिया बिहार निवासी कृष्ण कुमार दो महीने पहले रहने आए थे।

    शिकायत में बताया था कि मृतक और आरोपित उसके पशुबाड़ा में बने कमरे में एक साथ रहते थे। छह अक्टूबर को करीब आठ बजे अंजलि, दीपक व कृष्ण आपस में लड़ाई झगड़ा किए थे। इसमें अंजलि व कृष्ण ने दीपक को काफी चोटें मारी थीं। अंजलि व कृष्ण दीपक को कमरे में बंद करके मौके से भाग गए थे। इसके बाद में दीपक का नागरिक अस्पताल कैथल में इलाज करवा दवाई दिलाकर घर ले आए थे।

    आठ अक्टूबर की सुबह देखा तो दीपक कमरे के बाहर कुर्सी पर बैठा था। उसे आवाज लगाई तो वह कुछ नहीं बोला। पास जाकर देखा तो उसका शरीर अकड़ा हुआ था। उसे नागरिक अस्पताल लेकर गए, लेकिन डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था।